इंदौर न्यूज़ (Indore News) मध्‍यप्रदेश

एमवाय को मॉडल हॉस्पिटल के रूप में करेंगे विकसित : डॉ. मिश्रा

भोपाल!  गृह एवं इंदौर जिले के प्रभारी मंत्री डॉ. नरोत्तम मिश्रा (Dr. Narottam Mishra, Minister in charge of Home and Indore district) ने कहा है कि महाराजा यशवंत राव (MY) अस्पताल को मॉडल हॉस्पिटल (Model Hospital) के रूप में विकसित किया जायेगा। डॉ. मिश्रा इंदौर जिले में कोरोना से निपटने के लिये तीसरी लहर की आशंका को देखते हुए उसके नियंत्रण के लिये की जा रही तैयारियों की बिन्दुवार समीक्षा कर रहे थे। बैठक में उन्होंने सार्वजनिक वितरण प्रणाली के तहत गरीबों को वितरित किये गये राशन की प्रगति की भी समीक्षा की। बैठक में बंगाली ओवर ब्रिज का नामकरण स्व. श्री माधवराव सिंधिया के नाम पर करने का निर्णय लिया गया।

डॉ. मिश्रा ने बैठक में कोरोना संक्रमण की वर्तमान स्थिति, रोकथाम के लिये हो रहे प्रयासों, कोरोना की तीसरी लहर से निपटने के लिये की जा रही तैयारियों, अस्पताल प्रबन्धन, ऑक्सीजन प्रबन्धन, टीकाकरण आदि की बिन्दुवार समीक्षा की। बैठक में जल-संसाधन मंत्री श्री तुलसीराम सिलावट, पर्यटन मंत्री सुश्री उषा ठाकुर, विधायक श्री रमेश मेंदोला, श्री आकाश विजयवर्गीय, श्रीमती मालिनी गौड़, श्री महेंद्र हार्डिया तथा श्री विशाल पटेल, श्री सुदर्शन गुप्ता, श्री जीतू जिराती, श्री गौरव रणदिवे, श्री राजेश सोनकर, श्री मधु वर्मा, राज्य आपदा प्रबंधन समिति के सदस्य डॉ. निशांत खरे, कलेक्टर श्री मनीष सिंह, आयुक्त नगर निगम सुश्री प्रतिभा पाल, डीआईजी श्री मनीष कपूरिया मौजूद थे।

मंत्री डॉ. मिश्रा की अध्यक्षता में हुई बैठक में सर्व-सम्मति से तय किया गया कि बंगाली चौराहे पर निर्माणाधीन फ्लायओवर का नामकरण पूर्व केन्द्रीय मंत्री स्व. श्री माधवराव सिंधिया के नाम पर करना, एमवाय अस्पताल को मॉडल हॉस्पिटल के रूप में विकसित करने, बाणगंगा के 30 बिस्तरीय अस्पताल का उन्नयन 100 बिस्तरीय अस्पताल में करने के लिये राज्य शासन को प्रस्ताव भेजने का निर्णय लिया गया। प्रभारी मंत्री की अनुशंसा पर गठित होने वाली शासकीय समितियों का गठन एक माह में कर लिया जायेगा। जो समितियां राज्य स्तर पर गठित होना है, उनके प्रस्ताव एक माह में राज्य शासन को भेजे जायेंगे।

मंत्री डॉ. मिश्रा ने निर्देश दिये कि इंदौर के विभिन्न चौराहों, सार्वजनिक स्थानों, सार्वजनिक भवनों, जिनका विधिवत रूप से नामकरण हुआ है, शासकीय रिकार्ड तथा शासकीय पत्राचार में उनका नामकरण उसी के अनुरूप किया जाये। उन्होंने कहा कि इंदौर में जल जमाव के निकासी की समुचित व्यवस्था की जाये। बताया गया कि इंदौर जिले में कोरोना संक्रमण के चलते लॉकडाउन के दौरान नागरिकों को राशन की उपलब्धता सुनिश्चित करने के लिये प्रधानमंत्री खाद्यान्न योजना तथा राष्ट्रीय खाद्य सुरक्षा कार्यक्रम अन्तर्गत तीन लाख से अधिक परिवारों के 15 लाख से अधिक नागरिक लाभान्वित हुए। समीक्षा के दौरान मंत्री डॉ. मिश्रा ने निर्देश दिये कि ऐसे परिवार, जिनके पास अस्थायी पर्ची है, उनसे पात्रता के दस्तावेज लेकर शीघ्र ही पात्रता पर्ची को स्थायी किया जाये। जिन लोगों को अभी तक अस्थायी पात्रता पर्ची नहीं मिली है, उन्हें भी तुरंत पात्रता पर्ची उपलब्ध कराने के निर्देश बैठक में दिये गये।

एक माह में अनुकम्पा नियुक्ति मिलेगी

तय किया गया कि कोरोना से मृत हुए सभी शासकीय सेवकों के पात्र आश्रितों को एक माह के भीतर अनुकम्पा नियुक्ति दे दी जायेगी। प्रभारी मंत्री डॉ. मिश्रा ने सभी उपस्थित जन-प्रतिनिधियों से आग्रह किया कि अगर उनके संज्ञान में इस तरह के प्रकरण आते हैं, तो उसके निराकरण के लिये संबंधित अधिकारी को जानकारी उपलब्ध करायें। उन्होंने अधिकारियों को निर्देशित किया कि प्रकरणों का समय-सीमा में निराकरण कर आश्रितों को अनुकम्पा नियुक्ति प्रदान करें।

सर्व-सुविधायुक्त स्मार्ट इंडस्ट्रियल टाउनशिप

बताया गया कि मध्यप्रदेश इंडस्ट्रियल डेवलपमेंट कार्पोरेशन द्वारा इंदौर तथा पीथमपुर के समीप बेटमा क्षेत्र में सर्व-सुविधायुक्त स्मार्ट इंडस्ट्रियल टाउनशिप बनाई जा रही है। इस योजना के अन्तर्गत देश में पहली बार लैंड पुलिंग प्रक्रिया के तहत भूमि का अधिग्रहण किया जा रहा है। इसके तहत ग्रामीणों को 20 प्रतिशत की नगद मुआवजा राशि दी जा रही है तथा 80 प्रतिशत विकसित भूखण्ड संबंधित ग्रामीणों को दिये जाएंगे। यह टाउनशिप सभी मूलभूत सुविधाओं से युक्त है। प्रथम चरण में 956 हेक्टेयर में टाउनशिप का कार्य हो रहा है।

इंदौर में बेहतर कार्य हुए

मंत्री श्री सिलावट ने कहा कि कोरोना से नियंत्रण तथा टीकाकरण के लिये इंदौर में एकजुट होकर सबने समन्वय और सामंजस्य बनाकर कार्य किये।  कोरोना को समय रहते नियंत्रित कर लिया गया। इंदौर में इस दिशा में किये गये कार्य अन्य जिलों के लिये बेहतर उदाहरण हैं। श्री सिलावट ने बताया निजी चिकित्सालयों के साथ ही इंदौर के सभी शासकीय चिकित्सालयों में भी कोरोना का बेहतर उपचार हुआ है। शासकीय अस्पतालों में बेहतर उपचार और सभी सुविधाएं मिलने पर नागरिकों का विश्वास शासकीय संस्थाओं के प्रति बढ़ा है।

तीसरी लहर के मद्देनजर बच्चों और महिलाओं के लिये विशेष व्यवस्था

 बैठक में कोरोना से निपटने के लिए की गई व्यवस्थाओं, प्रबंधन और तीसरी लहर की आशंका के मद्देनजर एहतियात के रूप में किए जा रहे प्रबंधन, उपायों की जानकारी दी गई। इंदौर जिले में टीकाकरण महाअभियान के अंतर्गत टीकाकरण के लिये किये गये विशेष प्रयासों की जानकारी दी गई। बताया गया कि तीसरी लहर की आशंका को देखते हुए बच्चों एवं गर्भवती महिलाओं के इलाज के लिये विशेष इंतजाम किये जा रहे हैं। कोरोना के दूसरे चरण में जहाँ ऑक्सीजनयुक्त और आईसीयू बेड्स की संख्या 7 हजार 650 थी, उसे बढ़ाकर 10 हजार 250 किया गया है। इनमें महिलाओं और बच्चों के आईसीयू युक्त बेड्स की संख्या भी पर्याप्त रखी गई है। जिले में पहली बार चार सामुदायिक स्वास्थ्य केन्द्रों को भी कोविड अस्पताल के रूप में परिवर्तित किया गया है। गर्भवती महिलाओं और बच्चों के कोरोना पॉजिटिव पाये जाने पर उनके लिये चार विशेष मातृ शिशु एम्बुलेंस की व्यवस्था की गई है। कोरोना पॉजिटिव गर्भवती महिलाओं एवं बच्चों के इलाज के लिये डॉक्टर्स एवं नर्स को विशेष रूप से ट्रेनिंग देने की व्यवस्था की गई है। ट्रेनिंग का कार्य शुरू हो गया है। जिले में लगभग 77 प्रतिशत लोगों का टीकाकरण हो चुका है।

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