- इसी हफ्ते की तारीख करेंगे तय, बारिश के कारण खुले में सभा का आयोजन भी मुश्किल, लिहाजा खेल प्रशाल, ब्रिलियंट कन्वेंशन जैसे कवर्ड स्थल तलाशे जा रहे हैं
इंदौर। शहर सरकार के लिए जनता ने अपना जो फैसला सुनाया उसका खुलासा मतगणना के साथ हो गया है। अब विधिवत शपथ ग्रहण समारोह के साथ निगम परिषद का कामकाज संभवत: अगले हफ्ते से शुरू हो जाएगा। मुख्यमंत्री शिवराजसिंह चौहान की मौजूदगी में नवनिर्वाचित महापौर पुष्यमित्र भार्गव को शपथ दिलवाई जाएगी। इसी हफ्ते की उपयुक्त तारीख मुहूत्र्त देखते हुए आज-कल में ही तय हो जाएगी। अभी चूंकि लगातार बारिश हो रही है, उसके चलते खुले स्थान में सभा और आयोजन मुश्किल है। या तो वाटरप्रूफ विशाल डोम बनवाए जाएं या खेल प्रशाल, ब्रिलियंट कन्वेंशन जैसे बड़े हॉलों में आयोजन करवाएं। स्थानीय भाजपा नेताओं, अधिकारियों द्वारा इस पर विचार-विमर्श किया जा रहा है। मुख्यमंत्री की सहमति मिलते ही आयोजन स्थल सहित अन्य तैयारियां तेजी से शुरू हो जाएगी।
पंचायतों के साथ नगरीय निकायों के चुनाव बारिश में जैसे-तेसे सम्पन्न हुए। हालांकि इंदौर के संदर्भ में यह अच्छी बात रही कि न तो मतदान के दिन और ना ही मतगणना वाले दिन बारिश ने परेशानी पैदा की। अलबत्ता एक दिन बाद यानी कल दिनभर बारिश होती रही। अब नई परिषद के विधिवत गठन और शपथ ग्रहण समारोह की तैयारी शुरू की गई है। फिलहाल तो नवनिर्वाचित महापौर पुष्यमित्र भार्गव खजराना गणेश मंदिर सहित अन्य प्रमुख मंदिरों में दर्शन के अलावा धन्यवाद देने प्रमुख नेताओं, मीडिया संस्थानों और अन्य मित्रों से मिल रहे हैं। चूंकि मुख्यमंत्री उनका नामांकन फार्म भरवाने भी इंदौर आए थे और उसके बाद विशाल रोड शो भी किया और उनके सपनों का भी शहर है, जहां से पंचायत के साथ ग्रामीण और शहर सरकार बनाने में भाजपा को जोरदार सफलता मिली है। लिहाजा महापौर के शपथ ग्रहण समारोह में पूर्व की तरह इस बार भी मुख्यमंत्री मौजूद रहेंगे। हर बार तो इस अवसर पर विशाल सभा का भी आयोजन किया जाता है। मगर चूंकि लगातार बारिश हो रही है, लिहाजा किसी बड़े खुले मैदान में तो यह आयोजन संभव नहीं है।
महापौर परिषद् के गठन की भी सुगबुगाहट शुरू
महापौर और पार्षदों का चयन तो जनता ने कर दिया, मगर अब सभापति और महापौर परिषद का चयन पार्टी पदाधिकारी करेंगे, जिसमें जमकर गुटबाजी भी चलेगी। 10 एमआईसी सदस्य बनना है। सभापति के लिए मुन्नालाल यादव भी एक बड़े दावेदार हैं, तो राजेन्द्र राठौर, सुरेश कुरवाड़े से लेकर निरंजन चौहान, बबलू शर्मा, राजेश उदावत, कमल लड्ढा, कंचन गिदवाली, कमल वाघेला, पराग कौशल से लेकर प्रणव मंडल सहित कई नामों पर चर्चा शुरू हो गई है। वहीं नेता प्रतिपक्ष को लेकर कांग्रेस में भी कम घमासान नहीं मचेगा।
सचिवालय, निगम दफ्तर सहित कमरे हो रहे हैं तैयार
निगम मुख्यालय में नई परिषद के आगमन की तैयारी जोर-शोर से चल रही है। हालांकि पुरानी बिल्डिंग में ही महापौर कार्यालय और परिषद सदस्यों के कमरे रहेंगे, जिसे सजाया-संवारा जा रहा है। महापौर कार्यालय में तो दिमक भी लग गई, जिसे ठीक कराया जा रहा है। वहीं महापौर आवास, जिसका इस्तेमाल अधिकांश समय सचिवालय के रूप में होता रहा, उसे भी तैयार किया जा रहा है। नई बिल्डिंग का काम ठप पड़ा था, जिसे अब फिर से शुरू किया गया है। अब नई परिषद के कार्यकाल में ही इसका निर्माण पूरा होगा।