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Delhi Education Budget: दिल्ली सरकार ने पेश किया 16278 करोड़ रुपये का शिक्षा बजट, बेघर बच्चों के लिए बनेगा बोर्डिंग स्कूल


नई दिल्ली: दिल्ली सरकार (Delhi Government) ने शनिवार को वार्षिक बजट 2022-23 (Delhi Education Budget) पेश किया. इस बजट में दिल्ली की शिक्षा व्यवस्था पर खासा जोर दिया गया है. दिल्ली के कुल 75800 करोड़ रुपये के बजट में शिक्षा क्षेत्र के लिए 16278 करोड़ रुपये आवंटित किए गए हैं.

दिल्ली सरकार का बजट उप-मुख्यमंत्री (डिप्टी सीएम) मनीष सिसोदिया (Manish Sisodia) ने पेश किया. उन्होंने शिक्षा क्षेत्र के लिए कई अहम घोषणाएं कीं. सिसोदिया ने कहा, बुनियादी ढांचे को बदलने के बाद हमारा लक्ष्य शिक्षा क्षेत्र में सीखने के अनुभव को बदलना है. इस वर्ष हम एक स्कूल विज्ञान संग्रहालय, कक्षा डिजिटलीकरण, 100 स्कूलों में मोंटेसरी प्रयोगशाला और शिक्षक विश्वविद्यालय जैसी पहलों पर ध्यान केंद्रित करेंगे.

मनीष सिसोदिया ने कहा, दिल्ली सरकार के स्कूलों ने अब तक COVID-19 महामारी के बावजूद सीबीएसई बोर्ड परीक्षाओं में सर्वश्रेष्ठ रिजल्ट प्राप्त किए हैं और लगभग असंभव माने जाने वाले सौ प्रतिशत पास परसेंटेज के नतीजे (वास्तव में 99.84%) प्राप्त किए हैं. क्वालिटी से भरी शिक्षा के नए स्टैंडर्ड तय करने के लिए हमने दिल्ली स्कूल शिक्षा बोर्ड का गठन किया है. वहीं दिल्ली में अलग-अलग विषयों की स्पेशलाइज्ड स्टडी के लिए स्पेशलाइज्ड एक्सीलेंस स्कूल खोले गए हैं.

कैसा होगा स्कूल साइंस म्यूजियम
डिप्टी सीएम मनीष सिसदिया ने कहा कि वे चिराग इन्क्लेव नई दिल्ली में एक स्कूल साइंस म्यूजियम बनाने का प्रस्ताव करते हैं. यह स्कूल साइंस म्यूजियम बच्चों में विज्ञान के प्रति जिज्ञासा और रुचि विकसित करने में अहम भूमिका निभाएगा. स्कूल साइंस म्यूजियम के लिए सरकार ने 50 करोड़ रुपये का प्रावधान किया है. विज्ञान के ऐसे टॉपिक्स जो किताबों और वीडियो के माध्यम से भी समझने में दिक्कत आती है, वे म्यूजियम में जाकर उसे आसानी से समझ सकेंगे.


बेघर बच्चों के लिए बोर्डिंग स्कूल
दिल्ली सरकार ने बेघर बच्चों के लिए बोर्डिंग स्कूल बनाने का फैसला किया है. सड़क किनारे, फुटपाथ, फ्लाईओवर और सीढ़ियों के नीचे, पूजा स्थलों, मंडप, रेलवे प्लेटफॉर्म पर रहने वाले बच्चे आश्रय, शिक्षा और भोजन से वंचित रह जाते हैं. इन बच्चों को आश्रय, भोजन के साथ क्वालिटी की शिक्षा देने के लिए दिल्ली सरकार ने बोर्डिंग स्कूल बनाने का ऐलान किया. यह स्कूल आधुनिक सुविधाओं से लैस होगा. ये स्कूल बेघर बच्चों के रहने के साथ-साथ शिक्षा और भोजन की भी सुविधा देंगे. इसके लिए 10 करोड़ रुपये का प्रावधान किया गया है.

डिजिटल होगा स्कूल
मनीष सिसोदिया ने कहा, इस साल से हम अपने सभी स्कूलों के सभी क्लासरूम को अगले 4 साल में डिजिटल क्लासरूम में बदलने का काम शुरू कर रहे हैं. हमने सर्वोदय स्कूल, राजेंद्र नगर में एक आधुनिक मोंटेसरी लैब की स्थापना की है. बचपन की शिक्षा के विकास में मोंटेसरी लैब बहुत महत्वपूर्ण भूमिका निभाती है. हम आने वाले समय में 100 और स्कूलों में इसी तरह की मोंटेसरी लैब स्थापित करेंगे.

यूनिवर्सिटी का खाका तैयार
मनीष सिसोदिया ने कहा, स्कूलों में खेलों को आगे बढ़ाते हुए हमने 100 चयनित स्कूलों में स्थानीय बच्चों और समाज की जरूरत के हिसाब से खेल के बुनियादी ढांचे पर काम करना शुरू कर दिया है. 2015 में सरकार बनने के बाद अब तक केजरीवाल सरकार द्वारा दिल्ली में 5 नए विश्वविद्यालय खोले गए हैं. अंबेडकर विश्वविद्यालय के दो नए परिसर करमपुरा और लोधी रोड में खोले गए. साथ ही डीटीयू का पूर्वी दिल्ली परिसर खोला गया. आईपी यूनिवर्सिटी का पूर्वी दिल्ली कैंपस इसी साल से काम करना शुरू कर देगा.

एंटरप्रेन्योरशिप को बढ़ावा
दिल्ली स्किल एंड एंटरप्रेन्योरशिप यूनिवर्सिटी के 15 कैंपस इस साल शुरू हो गए हैं और ग्रेजुएशन, पोस्ट ग्रेजुएशन, http://B.Tech, डिप्लोमा आदि जैसे कोर्स के लिए 7,145 नए छात्रों ने इस साल एडमिशन लिया है. इस साल शुरू हुए 15 कैंपस के साथ ही दिल्ली स्किल एंड एंटरप्रेन्योरशिप यूनिवर्सिटी के 11 और कैंपस में इस साल से पढ़ाई शुरू हो जाएगी और 2500 और बच्चे एडमिशन ले सकेंगे. दिल्ली शिक्षक विश्वविद्यालय ने भी अपना काम पूरी गति से शुरू कर दिया है और बी.एड प्रदान करने की पूरी कोशिश की जा रही है. आवश्यक मंजूरी मिलने के बाद अगले सत्र से पाठ्यक्रम शुरू कर दिया जाएगा. सिसोदिया ने वित्तीय वर्ष 2022-23 के लिए शिक्षा क्षेत्र में कुल ₹16,278 करोड़ के खर्च का प्रस्ताव रखा. इसमें ₹14,412 करोड़ का राजस्व और ₹1,866 करोड़ का पूंजीगत व्यय शामिल है.

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