तराना। तराना (taraana) में बीते शुक्रवार को कृषि मंडी (farmers markets) में इफको के गोदाम पर जमकर हंगामा हुआ। खाद लेने पहुंचे किसानों ने गोदाम से खाद की बोरियां (manure bags) लूटने का प्रयास किया था। इस पर तराना पुलिस (Police) ने कुछ किसानों पर लाठियां (sticks on farmers) चलाईं। इसका एक वीडियो सोमवार को इंटरनेट मीडिया पर वायरल हो गया। पुलिस का कहना है कि घटनाक्रम मात्र एक मिनट का था। कुछ किसान अवैध तरीके से खाद ले जा रहे थे।
उज्जैन में हाल ही में किसानों पर पुलिस ने जबरदस्त लाठी चलाईं. दरअसल, किसान खाद लेने के लिए 26 नवंबर को सुबह 5 बजे से मंडी में इंतजार कर रहे थे. उन्हें दोपहर के बाद तक भी खाद नहीं मिली तो उन्होंने सोसयटी में रखीं यूरियां उठाना शुरू कर दिया. उसके बाद पुलिस ने उन पर लाठियां चलाईं. pic.twitter.com/1oAR7LQzPx
— Nikhil Suryavanshi (@NikhilEditor) November 30, 2021
शुक्रवार को तराना की कृषि मंडी में कई किसान इफको के गोदाम पर किसान खाद की बोरियां लेने के लिए पहुंचे थे। उसी दौरान कुछ किसानों ने देरी को लेकर हंगामा शुरू कर दिया था। इसके बाद किसानों ने गोदाम में घुसकर यूरिया की बोरियां उठाकर ले जाने का प्रयास किया था। इस पर वहां मौजूद पुलिसकर्मियों ने किसानों पर लाठियां चलाईं। टीआइ संजय मंडलोई के अनुसार किसान मानने को तैयार नहीं थे, कुछ लोगों ने गोदाम से जबरन खाद की बोरिया उठा ली थी। जिन्हें रोकने के लिए लाठी चलाना पड़ी थी। हालांकि मात्र एक से डेढ़ मिनट में ही हंगामा खत्म हो गया था।
नागदा जंक्शन। आवासीय क्षेत्रों में संचालित औद्योगिक इकाइयों के संबंध में सर्वोच्च न्यायालय दिल्ली द्वारा 11 अक्टूबर 2018 के आदेश तथा दंड प्रक्रिया संहिता की धारा 133 के अंर्तगत नगर में स्थापित लैंसेक्स उद्योग को रिहायशी क्षेत्र से हटाने की मांग की। सामाजिक कार्यकर्ता अभय चोपड़ा ने बताया कि लैंक्सेस इंडस्ट्रीज लिमिटेड नगर पालिका सीमा में रिहायशी इलाके में स्थित है, जो कि गंभीर प्रदूषण पैदा करने वाली केमिकल इकाई में आती है।
इसके कारण रिहायशी इलाकों में प्रदूषण से आम जनता के स्वास्थ्य पर भारी दुष्प्रभाव पड़ रहा है तथा आसपास के ग्रामीण क्षेत्रों में जल संसाधन, जमीन और भारी वायु प्रदूषण हो रहा है। प्रदूषण विभाग के पास प्रदूषण के पर्याप्त साक्ष्य है एवं ग्रामीण क्षेत्रों के सैकड़ों गांव जल और वायु प्रदूषण की चपेट में आ रहे हैं। वायु प्रदूषण के चलते रिहायशी इलाकों की ये औद्योगिक कंपनियां लगातार वायु और जल प्रदूषण फैलाकर जन स्वास्थ्य के लिए घातक सिद्ध हो रही है। इनका शीघ्र नागदा के समीप औद्योगिक क्षेत्र में रिक्त पड़ी हजारों बीघा जमीन का उपयोग हो जाएगा।
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