नई दिल्ली। संयुक्त राष्ट्र महासभा (United Nations General Assembly) में रूस पर बहस (debate on russia) के दौरान भी पाकिस्तान (Pakistan) अपनी हरकतों से बाज नहीं आया। उसने इस फिर एकबार कश्मीर का मुद्दा (Kashmir issue) उठाया। इसके बाद भारत ने करारा जवाब दिया है। रूस-यूक्रेन युद्ध (Russo-Ukraine War) के संबंध में यूएनजीए में वोटिंग पर चर्चा हो रही थी। इस दौरान अपने स्पष्टीकरण में पाकिस्तानी राजनयिक मुनीर अकरम (Pakistani diplomat Munir Akram) लगातार कश्मीर की स्थिति से रूस-यूक्रेन युद्ध की तुलना कर रहे थे। इसके बाद संयुक्त राष्ट्र में भारत की स्थायी प्रतिनिधि रुचिरा कंबोज ने कड़े शब्दों में उन्हें जवाब दिया।
उन्होंने कहा, “हमने देखा है कि आश्चर्यजनक रूप से एक बार फिर एक प्रतिनिधिमंडल द्वारा इस मंच का दुरुपयोग करने और मेरे देश के खिलाफ बेकार और व्यर्थ टिप्पणी करने का प्रयास किया गया है।”
कंबोज ने कहा कि इस तरह के बयान के बाद पाकिस्तान सामूहिक अवमानना का पात्र है, क्योंकि वह बार-बार झूठ बोल रहा है। काम्बोज ने कहा, “जम्मू और कश्मीर का पूरा क्षेत्र हमेशा भारत का अभिन्न अंग है और रहेगा। हम पाकिस्तान से सीमा पार आतंकवाद को रोकने के लिए कहते हैं ताकि हमारे नागरिकों के जीवन की रक्षा हो और वे स्वतंत्रता के अधिकार का आनंद ले सकें।”
इससे पहले यूएनजीए में यूक्रेन के चार क्षेत्रों के रूसी कब्जे की निंदा करते हुए एक प्रस्ताव लाया गया था। 143 सदस्यों ने प्रस्ताव के पक्ष में मतदान किया जबकि पांच ने इसके खिलाफ मतदान किया। भारत सहित कुल 35 देश प्रस्ताव से दूर रहे। हालांकि, भारत ने बुधवार को यूक्रेन में संघर्ष के बढ़ने पर गहरी चिंता व्यक्त की है।
काम्बोज ने कहा कि भारत ने लगातार इस बात की वकालत की है कि मानवीय कीमत पर कोई समाधान नहीं किया जा सकता है और शत्रुता को बढ़ाना किसी के हित में नहीं है। उन्होंने कहा, “हमने आग्रह किया है कि शत्रुता को तत्काल समाप्त करने के साथ-साथ बातचीत और कूटनीति के रास्ते पर तत्काल वापसी के लिए सभी प्रयास किए जाएं।”
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