भोपाल न्यूज़ (Bhopal News)

राजनीतिक रैलियों में आज से उमड़ी रही वैधानिक भीड़

  • 18 जिलों के कलेक्टर एवं पुलिस अधीक्षकों को मिली राहत

भोपाल। प्रदेश में कोरोना का संक्रमण के बीच चुनाव आयोग 28 विधानसभा सीटों पर उपचुनाव कराने जा रहा है। इसको लेकर उपचुनाव वाले 18 जिलों में पिछले एक महीने से राजनीतिक कार्यक्रमों का सिलसिला जारी है। इन आयोजनों में कोविड-19 को लेकर जारी गाइडलाइन की धज्जियां उड़ाई जा रही थी। जिसको लेकर मप्र हाईकोर्ट ने उपचुनवा वाले जिलों के कलेक्टर एवं एसपी को चुनावी सभाओं में गाइडलाइन का उल्लंघन करने वालों पर एफआइआई के निर्देश दिए थे। इस बीच केंद्र सरकार ने राजनीतिक कार्यक्रमों में 100 लोगों की भीड़ की बाध्यता तत्काल प्रभाव से खत्म कर दी है। ऐसे में आज से चुनावी सभाओं में हजारों की वैधानिक भीड़ जुटना शुरू हो गई है।
प्रदेश में सबसे ज्यादा कोरोना का संक्रमण इंदौर में फैल रहा है। यहां एक सीट सांवेर पर उपचुनाव हो रहा है। सांवेर में आयोजित होने वाले राजनीतिक कार्यक्रमों में जमकर भीड़ उमड़ रही है। केंद्रीय गृह मंत्रालय द्वारा 100 लोगों की बाध्यता खत्म करने से पहले ही सांवेर में हजारों की भीड़ उमड़ी। जिसको लेकर इंदौर हाईकोर्ट ने एक जनहित याचिका पर मप्र सरकार को नोटिस जारी करना पड़ा। अब नई गाइडलाइन से चुनावी सभाओं में भीड़ को वैधानिक मान्यता मिल गई है। इसी के साथ ही मुरैना, भिंड, ग्वालियर, शिवपुरी, गुना, दतिया, देवास, आगर-मालवा, मंदसौर, अनूपपुर, बुरहानपुर, रायसेन, सागर, अशोकनगर, खरगोन, धार जिले में भी उपचुनाव वाले क्षेत्रों में चुनावी कार्यक्रमों में वैधानिक भीड़ उमड़ रही है। हालांकि केंद्र सरकार ने सिर्फ 100 लोगों की संख्या हटाई है, लेकिन सोशल डिस्टेंस एवं मास्क की अनिवार्यता अभी भी है। लेकिन शुक्रवार को खबर लिखे जाने तक जिन जिलों में चुनावी कार्यक्रमों की सूचना मिली, वहां ज्यादातर में गाइडलाइन का उल्लंघन दिखाई दिया। भीड़ में मौजूद लोगों ने न तो मास्क लगाई और न ही सोशल डिस्टेंस का ध्यान रखा गया। हालांकि सोशल डिस्टेंस का उल्लंघन तो 100 लोगों की भीड़ की बाध्यता के समय भी जमकर हो रहा था।

कार्रवाई को लेकर पशोपेश में थे अफसर
चुनावी सभाओं में भीड़ उमडऩे पर मप्र हाईकोर्ट ने उपचुनाव वाले जिलों के कलेक्टरों को गाइडलाइन का उल्लंघन करने वालों पर कार्रवाई के आदेश दिए थे। कोर्ट ने एक हफ्ते पहले आदेश दिए थे, लेकिन अभी तक किसी भी कलेक्टर ने किसी भी राजनीतिक कार्यक्रम को लेकर कार्रवाई नहीं की है। कलेक्टर एवं एसपी इस बात को लेकर पशोपेश में थे, कि कार्रवाई किस दल पर की जाए। क्योंकि दोनों प्रमुख दल कांग्रेस एवं भाजपा की सभाओं में कोविड-19 की गाइडलाइन का जमकर उल्लंघन हो रहा था। यदि एक दल पर कार्रवाई की जाती है तो दूसरा दल प्रशासन के खिलाफ सड़क पर उतर जाता। ऐसे में केंद्र सरकार की गाइडलाइन से चुनाव वाले जिलों के कलेक्टर एवं एसपी को बड़ी राहत मिली है।

Share:

Next Post

सायबर पुलिस में भर्ती होंगे आईटी एक्सपर्ट

Fri Oct 9 , 2020
कैडर बदलने की तैयारी भोपाल। खरीदी से लेकर पैसों के लेन-देने की ऑनलाइन प्रक्रिया बढ़ रही है, वैसे-वैसे सायवर अपराध भी बढ़ रहे हैं। ऐसे में इस तरह के अपराधों पर लगाम कसने में सायबर पुलिस की मौजूदा व्यवस्था ठीक नहीं है। पुलिस मुख्यालय अब सायबर पुलिक का कैडर बदलने की तैयारी में है। जिसके […]