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Russian-Ukrainian War: रूस के पास क्लस्टर बमों का भंडार, पुतिन यूक्रेन पर कर सकते हैं इस्तेमाल

मास्‍को (Moscow)। रूस-यूक्रेन युद्ध (Russian-Ukrainian War) को एक साल से ज्‍यादा हो गया है, लेकिन दोनों देश हार मानने को तैयार नहीं है। रूस के राष्ट्रपति व्लादिमीर पुतिन () ने रविवार को धमकी देते हुए कहा कि हमारे पास क्लस्टर बमों का पर्याप्त भंडार है और अगर जरूरत पड़ी तो युद्ध से तबाह यूक्रेन में इस (Russian President Vladimir Putin) का इस्तेमाल किया जाएगा। पुतिन ने कहा कि क्लस्टर बम जैसे हथियार, जिनके उपयोग को अपराध माना गया है और अगर यूक्रेन में रूसी बलों के खिलाफ तैनात किए गए थे, तो उनका उपयोग करने का अधिकार उनके पास भी है।

यूक्रेन ने गुरुवार को कहा था कि उसे अपने सबसे बड़े सैन्य समर्थक अमेरिका से क्लस्टर बम मिले हैं, वहीं 100 से अधिक देशों में क्लस्टर युद्ध सामग्री पर प्रतिबंध लगा दिया गया है क्योंकि वे आम तौर पर बड़ी संख्या में छोटे बम छोड़ते हैं जो बड़े क्षेत्र में अंधाधुंध जानमाल को नुकसान पहुंचा सकते हैं। उनमें से कुछ तो विस्फोट ही नहीं होते और ऐसे में वह दशकों तक खतरा पैदा कर सकते हैं, खासकर बच्चों के लिए।



जरूरत पड़ी तो मॉस्को देगा जवाब
वहीं मीडिया रिपोर्ट से मिली जानकारी के मुताबिक कीव ने कहा है कि वह अपने क्षेत्र को वापस लेने की कोशिश करते समय दुश्मन सैनिकों को हटाने के लिए क्लस्टर बमों का उपयोग करेगा, लेकिन रूसी क्षेत्र पर उनका उपयोग नहीं करेगा. वहीं पुतिन ने सरकारी टीवी से कहा कि अगर जरूरत पड़ी तो मॉस्को उसी तरह जवाब देगा।

रूस में क्लस्टर बमों का पर्याप्त भंडार
पुतिन ने कहा कि मैं यह बताना चाहता हूं कि रूसी संघ में विभिन्न प्रकार के क्लस्टर बमों का पर्याप्त भंडार है। हमने अभी तक उनका उपयोग नहीं किया है, लेकिन निश्चित रूप से, यदि उनका उपयोग हमारे खिलाफ किया जाता है, तो हम भी जवाबी कार्रवाई करने का अधिकार सुरक्षित रखते हैं।

क्लस्टर बमों का इस्तेमाल अपराध
उन्होंने ने कहा कि वह क्लस्टर बमों के इस्तेमाल को अपराध मानते हैं और अतीत में गोला-बारूद की समस्या झेलने के बावजूद रूस को अब तक खुद इनका इस्तेमाल करने की जरूरत नहीं पड़ी है, हालांकि ह्यूमन राइट्स वॉच का कहना है कि मॉस्को और कीव दोनों ने क्लस्टर हथियारों का इस्तेमाल किया है।

बता दें कि रूस, यूक्रेन और अमेरिका ने क्लस्टर युद्ध सामग्री के कन्वेंशन पर हस्ताक्षर नहीं किए हैं, जो हथियारों के उत्पादन, भंडारण, उपयोग और हस्तांतरण पर प्रतिबंध लगाता है। पुतिन ने यह भी बताया कि उन्हें रूसी विशेषज्ञों द्वारा कब्जे में लिए गए पश्चिमी सैन्य उपकरणों और मिसाइलों की जांच करने में कुछ भी गलत नहीं लगा। जैसे ब्रिटेन द्वारा यूक्रेन को आपूर्ति की गई स्टॉर्म शैडो मिसाइलें, ताकि यह देखा जा सके कि इसमें क्या कुछ उपयोगी है, जिसका उपयोग रूस अपने सैन्य हार्डवेयर में कर सकता है।

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