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लालू-राबड़ी आवास के बाहर लगे इस पोस्टर से मचा बवाल! RJD ने शुरू की नयी सियासत

पटना: लालू-राबड़ी के बाहर राजद के लगे पोस्टर ने बिहार की सियासत में हंगामा खड़ा कर दिया है. एक तरफ जहां बीजेपी राममंदिर निर्माण को लेकर कार्यक्रम कर रही है. वहीं राजद ने पोस्टर के जरिए मंदिर को गुलामी मानसिक का मार्ग बताकर नई सियासत शुरु कर दी है. अयोध्या में राममंदिर निर्माण को लेकर बीजेपी लवकुश यात्रा के साथ बड़े कार्यक्रम कर रही है. राममंदिर के स्थापना के को लेकर देश भर में चल रहे कार्यक्रम के बीच राजद ने पोस्टर लगाकर नया हंगामा खड़ा कर दिया है.

राजद की ओर से लालू राबड़ी आवास के बाहर पोस्टर लगाया गया है जिसमे मंदिर पर सवाल खड़ा किया गया है. पोस्टर में लिखा गया है कि मंदिर का मतलब मानसिक गुलामी का मार्ग और स्कूल का मतलब होता है. जीवन में प्रकाश का मार्ग, जब मंदिर की घंटी बजती है तो हमें संदेश देती है कि हम अंधविश्वास, पाखंड, मूर्खता और अज्ञानता की ओर बढ़ रहे हैं और जब स्कूल की घंटी बजती है तो हमें यह संदेश मिलता है कि हम तर्कपूर्ण ज्ञान और वैज्ञानिकता व प्रकाश की ओर बढ़ रहे हैं. अब तय करना है कि आपको किस तरफ जाना चाहिए.

दरअसल राजद ने सावित्री बाई फुले के समर्थन में पोस्टर लगाते हुए मंदिर पर ही सवाल खड़ा कर दिया है. राजद 7 जनवरी को सावित्री बाई फुले के जन्मदिवस के मौके पर रोहतास में समारोह करने वाली है जिसमे शिक्षा मंत्री चंद्रशेखर मुख्य अतिथि के रूप में भाग ले रहे है.


रजत के द्वारा रजत के द्वारा पोस्टर लगाकर मंदिर पर उठाए गए सवाल पर बीजेपी ने तीखा हमला करते हुए रजत के काम करने के तरीकों पर सवाल खड़ा किया है. बीजेपी प्रवक्ता नीरज शर्मा ने बड़ा बयान देते हुए कहा है कि रजत के मंत्री और नेता विरोध करते-करते ऐसा लगता है कि जैसे सभी ने धर्म परिवर्तन ही कर लिया है. रजत प्रधानमंत्री मोदी के विरोध करने के साथ हिंदू धर्म पर ही सवाल खड़े कर रहे हैं जो कहीं से भी उचित नहीं है हिंदू धर्म पर सवाल खड़ा करना देश और यहां रहने वाले बहुत संख्या पर टिका हमला है जिसका जवाब जनता मुंहतोड़ रूप से चुनाव में देगी.

यह पहला मौका नहीं है जब रजत ने हिंदू धर्म और शास्त्रों में सवाल खड़ा किया है. आज पोस्ट के जरिए मंदिर पर सवाल खड़े करते हुए गुलामी का मार्ग बताया है. वहीं इससे पहले राजद नेता और शिक्षा मंत्री चंद्रशेखर ने रामचरित्र मानस में ही सवाल खड़े करते हुए रामचरितमानस को गलत करार दिया था. शिक्षा मंत्री चंद्रशेखर ने रामचरितमानस पर सवाल खड़ा करते हुए लगातार बयान बाजी की और विशेष गलत कर दिया जिसके बाद देशभर में खूब हंगामा खड़ा हुआ.

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