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‘गाजा पर हमलों में जैसे मारे जा रहे फलस्तीनी, वैसे ही इस्राइली बंधकों को मौत दे रहे’, हमास प्रमुख का दावा

यरुशलम। इस्राइल और हमास के बीच संघर्ष शुरु हुए अब चार हफ्ते होने वाले हैं। इस बीच दोनों तरफ से मौतों का आंकड़ा अब तक 10,000 से ज्यादा हो चुका है। जहां हमास के 7 अक्तूबर को किए गए हमलों में 1400 इस्राइलियों की जान गई, वहीं इसके जवाब में गाजा पट्टी पर की गई इस्राइल की कार्रवाई में 9000 से ज्यादा फलस्तीनियों की मौत हो चुकी है। इन हालात के बावजूद न तो इस्राइल और न ही हमास झुकने के लिए तैयार है। हमास के प्रमुख ने नई चेतावनी जारी करते हुए कहा है कि गाजा में हमलों में जिस तरह से फलस्तीनी मारे जा रहे हैं, कुछ उसी तरह की मौत इस्राइली बंधकों को भी दी जा रही है।

हमास प्रमुख इस्माइल हनिया की ओर से एक वीडियो संदेश जारी किया गया है। इसमें दोनों पक्षों के बीच सुलह कराने वालों से कहा गया है कि इस नरसंहार को रोकना जरूरी है। इतना ही नहीं इसमें लोगों से इस्राइली हमलों के खिलाफ प्रदर्शन जारी रखने के लिए भी कहा गया है। खासकर पश्चिमी देशों में रहने वालों से, ताकि वहां नीति निर्माताओं पर दबाव बनाया जा सके।

इस्माइल ने कहा कि इस्राइल गाजा युद्ध में नरसंहार कर रहा है, ताकि वह अपनी हार को छिपा सके। वह शस्त्रहीन आम नागरिकों को निशाना बना रहा है। हमास प्रमुख ने कहा कि इस्राइल की यह दुष्टता उसे एक बड़ी हार से बचा न हीं पाएगी। खुद फलस्तीन के बाहर रहकर हमास के संघर्ष को बढ़ावा दे रहे संगठन के सरगना ने कहा कि मिस्र का फलस्तीन से लगता राफा बॉर्डर भी खोल दिया जाना चाहिए, ताकि दोनों दिशाओं से लोगों को आने-जाने की जगह मिले।


कौन है इस्माइल हनिया और इसको लेकर क्या जानकारी आई?
वर्तमान में आतंकी संगठन हमास की कमान इस्माइल हनिया के हाथों में है। 2018 में हनिया को अमेरिकी विदेश विभाग द्वारा आतंकवादी नामित किया गया था। सवाल्हा की तरह हनिया भी विदेश में बैठकर आतंकी संगठन को चला रहा है। जहां गाजा के आम लोग दाने-दाने को मोहताज हैं। वहीं, हमास प्रमुख और उसका परिवार कतर में ऐशो-आराम की जिंदगी जी रहा है। 7 अक्तूबर को इस्राइल पर हमास के हमले के एक वीडियो वायरल हुआ हुआ जिसमें इस्माइल कतर की राजधानी दोहा में अपने शानदार कार्यालय में आतंकी हमले का समर्थन करता नजर आया।

2006 में फलस्तीन के आम चुनावों में हमास की जीत के बाद से ही संगठन में हनिया का दबदबा बढ़ने लगा। उसे गाजा पट्टी में फलस्तीनी प्राधिकरण का प्रधानमंत्री नियुक्त किया गया। इस दौरान मिस्र से गाजा पट्टी में आयातित वस्तुओं पर लगाए गए भारी कर लगाकर हनिया ने अपनी संपत्ति कई गुना बढ़ा ली। 2014 में हमास द्वारा सभी व्यापार पर 20 प्रतिशत कर लगाए जाने की घोषणा की गई थी। एक रिपोर्ट में दावा किया गया कि इन करों की वजह से हमास के 1,700 टॉप कमांडर करोड़पति बन गए।

2010 में हनिया ने शाती शरणार्थी शिविर के पास करीब 33 करोड़ रुपये की जमीन खरीदी थी जिसे उसने अपने दामाद के नाम पर किया था। तब से हनिया ने गाजा पट्टी में कई अपार्टमेंट, विला और इमारतें खरीदी हैं, जो उसके बच्चों के नाम पर पंजीकृत हैं। हनिया के कई बेटों की विदेश में लग्जरी नाइट क्लबों में शराब पीने की तस्वीरें भी सामने आई हैं। रिपोर्ट के मुताबिक, हनिया के बच्चों के पास जनरेटर हैं जिससे उत्पन्न होने वाली बिजली को वो अच्छी कीमत पर बेचते हैं।

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