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अदाणी समूह की 7 कंपनियों के शेयर 2019 से ही नियामकीय निगरानी में, सेबी-स्टॉक एक्सचेंज ने किए उपाय

नई दिल्ली। हिंडनबर्ग रिसर्च की रिपोर्ट के बाद अदाणी समूह के बड़ी गिरावट वाले शेयर नियामकीय निगरानी के दायरे में आ गए हैं। इससे पहले भी कीमतों में भारी तेजी के बाद समूह की कुछ कंपनियों के शेयरों पर नियामकीय निगरानी बढ़ाई गई थी। शेयर बाजार के आंकड़ों के मुताबिक, अदाणी समूह की सात कंपनियों के शेयर 2019 के बाद से विभिन्न अवधि के दौरान कीमतों में असामान्य उतार-चढ़ाव और प्रवर्तकों के अधिक संख्या में गिरवी रखे जाने के कारण नियामकीय निगरानी के दायरे में हैं। 3 फरवरी, 2023 की स्थिति के अनुसार, समूह की 6 सूचीबद्ध कंपनियों के शेयर अतिरिक्त निगरानी व्यवस्था में हैं।

भारतीय प्रतिभूति एवं विनिमय बोर्ड (Sebi) और शेयर बाजार ने संबंधित शेयरों में अत्यधिक उतार-चढ़ाव से निपटने के लिए अतिरिक्त निगरानी उपाय किए हैं। किसी शेयर की कीमतों में जब कभी अत्यधिक उतार-चढ़ाव होता है तो एएसएम अपने आप चालू हो जाती है। शेयर बाजार बीएसई और एनएसई ने हाल ही में अदाणी समूह की तीन कंपनियों अदाणी इंटरप्राइजेज, अदाणी पोर्ट्स एंड स्पेशल इकनॉमिक जोन और अंबुजा सीमेंट को अल्पकालीन अतिरिक्त निगरानी व्यवस्था (ASM) के दायरे में रखा है। इसका मकसद सट्टेबाजी और शॉर्ट सेलिंग पर अंकुश लगाना है।

ये शेयर एएसएम के दायरे में

  • अदाणी ग्रीन एनर्जी के पहली बार अतिरिक्त निगरानी व्यवस्था में आने के बाद से उसे कुल 1,208 दिनों में से 520 दिन (43 फीसदी) के लिए एएसएम प्रतिबंधों का सामना करना पड़ा।
  • अदाणी पावर जब पहली बार इस निगरानी दायरे में आई, उसके बाद से 780 दिनों में से 511 दिन के लिए अल्पकालीन या दीर्घकालीन एएसएम दायरे में रही। इसमें से 267 दिनों के लिए कंपनी कीमत में वृद्धि को लेकर कड़ी निगरानी में थी।
  • अदाणी ट्रांसमिशन निगरानी दायरे में आने के बाद से कुल 1,618 दिनों में से 508 दिन के लिए अल्पकालीन या दीर्घकालीन एएसएम के दायरे में रही।
  • अदाणी टोटल गैस 774 में से 493 दिन के लिए एएसएम सूची में थी।
  • अदाणी विल्मर 8 फरवरी, 2022 को सूचीबद्ध हुआ। कीमत वृद्धि के कारण पहली बार एएसएम दायरे में आने के बाद यह 151 दिन अतिरिक्त निगरानी में थी।
  • अदाणी समूह के दो शेयर नकद और वायदा एवं विकल्प खंड में है, जहां दीर्घकालीन एएसएम लागू नहीं है।
  • अदाणी इंटरप्राइजेज और अदाणी पोर्ट्स एंड स्पेशल इकनॉमिक जोन लि. प्रवर्तकों की ओर से अधिक मात्रा में शेयर गिरवी रखे जाने की वजह से एक साल से अल्पकालीन एएसएम निगरानी में हैं।
  • 06 शेयरों पर अतिरिक्त निगरानी तीन फरवरी, 2023 की स्थिति के अनुसार।

इन कंपनियों पर भी है नजर

  • एनएसई में कुल 2,113 सूचीबद्ध शेयरों में 117 एएसएम सूची में हैं।
  • बीएसई में 4,378 शेयरों में से 288 इस निगरानी उपाय के दायरे में हैं।

क्या होती है अतिरिक्त निगरानी व्यवस्था
एनएमआईएमएस इंदौर में स्कूल ऑफ बिजनेस मैनेजमेंट (SBM) के एसोसिएट प्रोफेसर निरंजन शास्त्री के मुताबिक, एएसएम सबसे पहले 2018 में आई थी। उस समय सेबी और शेयर बाजारों ने मौजूदा उपायों के अलावा निगरानी की जरूरत महसूस की। इस व्यवस्था को बाजार में कीमतों में अत्यधिक उतार-चढ़ाव की स्थिति लागू किया जाता है। इसके अलावा, किसी खास शेयर में निवेशकों की अत्यधिक रुचि, बाजार पूंजीकरण, संख्या में उतार-चढ़ाव और डिलिवरी प्रतिशत की स्थिति में एएसएम व्यवस्था लागू की जाती है।


क्या है शॉर्ट सेलिंग?
शॉर्ट सेलिंग कारोबार का एक तरीका है। इसके तहत कंपनी उन शेयरों या प्रतिभूतियों को दूसरे ब्रोकरों से उधार लेकर खुले बाजार में बेचती है, जिसके बारे में उनका मानना होता है कि उसकी कीमत घटेगी। बाद में कीमत जब घटती है तो फिर से उसे खरीदकर उधार शेयर लौटाकर मुनाफा कमाया जाता है।

अदाणी ग्रीन को दोगुना से ज्यादा लाभ
अदाणी ग्रीन एनर्जी का चालू वित्त वर्ष की तीसरी तिमाही का एकीकृत शुद्ध लाभ दोगुना से अधिक होकर 103 करोड़ रुपये पहुंच गया। कंपनी ने कहा कि आमदनी बढ़ने से उसका लाभ बढ़ा है। 2021-22 की समान तिमाही में 49 करोड़ का एकीकृत लाभ हुआ था। इस दौरान कंपनी की कुल आय बढ़कर 2,258 करोड़ रुपये पहुंच गई।

अदाणी पोर्ट्स का मुनाफा 12.94 फीसदी घटा
अडाणी पोर्ट्स एंड स्पेशल इकनॉमिक जोन का चालू वित्त वर्ष की तीसरी तिमाही में एकीकृत शुद्ध लाभ 12.94 फीसदी घटकर 1,336.51 करोड़ रुपये रह गया। इस दौरान एकीकृत कुल आय 4,713.37 करोड़ से बढ़कर 5,051.17 करोड़ रुपये पहुंच गई। कंपनी का कुल खर्च बढ़कर 3,507.18 करोड़ रुपये पहुंच गया। वहीं, अंबुजा सीमेंट्स का एकीकृत शुद्ध लाभ 13.2 फीसदी बढ़ गया।

समूह पर कर्ज से बैंकों की ऋण गुणवत्ता पर असर नहीं
रेटिंग एजेंसी मूडीज ने मंगलवार को कहा, अदाणी समूह की कंपनियों पर बैंकों का कर्ज इतना अधिक नहीं है कि उनकी ऋण गुणवत्ता प्रभावित हो सके। मूडीज इंवेस्टर सर्विस ने कहा, समूह को कर्ज देने में सरकारी बैंक निजी बैंकों से कहीं आगे हैं। लेकिन, ज्यादातर बैंकों के कुल ऋण वितरण में समूह की हिस्सेदारी एक फीसदी से भी कम है। हालांकि, अगर समूह बैंकों से लिए गए कर्ज पर अधिक निर्भर हो जाता है तो बैंकों का जोखिम बढ़ सकता है। इसके अलावा, मौजूदा घटनाक्रम की वजह से समूह को अंतरराष्ट्रीय बाजार से मिलने वाले कर्ज में गिरावट आ सकती है क्योंकि उसके कर्ज का बड़ा हिस्सा विदेश से आया है।

6 कंपनियों के शेयर बढ़त में बंद, अमीरों की सूची में 17वें स्थान पर पहुंचे गौतम अदाणी
अदाणी समूह के शेयरों के लिए मंगलवार का दिन मिला-जुला रहा। कारोबार के अंत में 6 कंपनियों के शेयर बढ़त में बंद हुए। चार में गिरावट रही। अदाणी इंटरप्राइजेज करीब 15 फीसदी बढ़त में बंद हुआ। शेयरों में उछाल से समूह के चेयरमैन गौतम अदाणी की संपत्ति मंगलवार को 1.2 अरब डॉलर बढ़कर 60.6 अरब डॉलर पहुंच गई। साथ ही, वह अमीरों की सूची में 17वें स्थान पर पहुंच गए।

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