उज्जैन: मध्य प्रदेश (Madhya Pradesh) के उज्जैन के महाकालेश्वर मंदिर (Mahakaleshwar Temple of Ujjain) में सभी धार्मिक पर्वों की शुरुआत होती है. इसी कड़ी में गुरुवार सुबह भस्म आरती के दौरान भगवान महाकाल के दरबार में पंडित और पुरोहितों ने दीपावली का पर्व मनाया. इस दौरान बड़ी संख्या में देशभर से आए श्रद्धालुओं ने भस्म आरती में हिस्सा लिया.
महाकालेश्वर मंदिर के आशीष पुजारी बताते हैं कि सभी पर्व की शुरुआत भगवान महाकाल के आंगन में होती है. इसके बाद देशभर में त्योहार मनाया जाता है. गुरुवार सुबह भगवान महाकाल को मंदिर के पट खुलना के बाद दूध, दही, शहद, शक्कर और फलों के रास से स्नान कराया गया.
आशीष पुजारी ने बताया कि भगवान महाकाल पर भांग, सूखे मेवे, चंदन, अभिर, गुलाल से श्रृंगार किया गया. मंत्रोच्चर के साथ भगवान महाकाल निराकार से साकार रूप में आए. फिर भस्म आरती हुई. भस्म आरती के दौरान फुलझड़ी जलाकर दीपावली पर्व मनाया गया. आज सभी आरती में फुलझड़ी जलाई जाएगी.
भगवान महाकाल के साथ दीपावली मनाने के लिए देशभर के श्रद्धालु उज्जैन पहुंचे हैं. दिल्ली से आई सरिता सिंह ने बताया कि भगवान महाकाल के साथ दीपावली का पर मानना काफी अद्भुत रहा है, जिसे शब्दों में बयां नहीं किया जा सकता है. उनका यह भी कहना है कि भस्म आरती में दीपावली पर्व की शुरुआत होना भी अद्भुत है.
महाकालेश्वर मंदिर में होली पर्व के दौरान आगजनी की घटना हुई थी, जिसमें एक सेवक की दुखद मौत हो गई थी, जबकि कई पंडित और पुरोहित घायल हो गए थे. इस घटना के बाद दीपावली पर्व को लेकर विशेष गाइडलाइन बनाई गई थी, जिसका मंदिर में पालन हो रहा है. मंदिर में पूर्व में दीपावली के दौरान कई फुलझड़ी जलाई जाती थी मगर इस बार केवल एक फुलझड़ी के माध्यम से प्रतीकात्मक तौर पर दीपावली पर्व की शुरुआत की गई है.
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