इंदौर न्यूज़ (Indore News)

इंदौर में भी लगेंगे बिजली के ब्लूटूथ मीटर

बिजली कंपनी की नई पहल… एक ही स्थान पर खड़े होकर 20-25 घरों की हो जाएगी मीटर रीडिंग
इंदौर कमलेश्वर सिंह सिसौदिया।  इंदौर बिजली कंपनी (Indore electricity company) उपभोक्ताओं लगातार नई और आदर्श तकनीक देने के लिए काम कर रहा है 2 साल पहले बिजली (electricity) के स्मार्ट मीटर (smart meter) लगाकर देशभर में इंदौर बिजली कंपनी का नाम अव्वल रहा तो अब भीलवाड़ा मॉडल (bhilwara model) के ब्लूटूथ (bluetooth) बिजली के मीटर हर कंपनी लागू करने के लिए प्रयास कर रही है। इसके लिए एक दल भी भीलवाड़ा जाकर इन मीटरों का अध्ययन कर चुका है।
राजस्थान की भीलवाड़ा में बिजली (electricity) के ब्लूटूथ (bluetooth) वाले मीटर का सफल प्रयोग रहा है। इन मीटरों की खासियत यह है कि एक ही स्थान पर खड़े होकर 20-25 घरों के सभी मीटर की रीडिंग ली जा सकती है। यानी रीडर को घर-घर जाने की आवश्यकता नहीं होगी। वह कुछ चुनिंदा सपोर्ट पर खड़ा रहकर रीडिंग ले सकता है। यह रीडिंग मोबाइल एप (reading mobile app) या पोर्टल (portal) के माध्यम से ली जाएगी। ऊर्जा सचिव आकाश त्रिपाठी ने इंदौर बिजली कंपनी की बैठक में इस प्रक्रिया को तेजी से आगे बढ़ाने के प्रस्ताव पर सहमति जताई और इसे अमल में लाने के प्रयास त्वरित गति से करने की बात कही है। एडीएम अमित तोमर ने बताया कि तकनीकी पहलू पर विचार किया जा रहा है। ब्लूटूथ (bluetooth) मीटर एक बेहतर प्रक्रिया है इससे एवरेज बिलों की समस्या खत्म होगी।


कम खर्च का काम
ब्लूटूथ (bluetooth) वाली बिजली (electricity) के मीटर में सामान्य मीटरों की तुलना में लगभग 300 रुपए ही ज्यादा आ रहा है, इसलिए इस योजना को अमल में लाने पर कंपनी का विशेष जोर दिया जा रहा है।
इस मॉडल से कोरोना काल में मिलती सफलता
भीलवाड़ा जैसे इंदौर में सामान्य मीटर की जगह लगे होते तो अप्रैल-मई के महीने में जब कोरोना वायरस का संक्रमण उच्च स्तर पर था और माइक्रो कंटेंटमेंट क्षेत्र में आवागमन रोका गया था, ऐसे समय में इन ब्लूटूथ (bluetooth) वाले मीटरों की रीडिंग कंटेनमेंट झोन के दूसरे छोर या गली- मोहल्ले के किनारे से ली जा सकती थी। ऐसे में शत-प्रतिशत सही रीडिंग के बिल कंपनी जारी कर पाता और उपभोक्ताओं की एवरेज बिल की शिकायतें भी नहीं आती।
इस प्रकार करता है काम
बिजली (electricity) के ब्लूटूथ (bluetooth) मीटर कम खर्च क्या होने के साथ ही जो सामान्य मीटर घरों में लगे हैं, उस प्रकार का ही होता है बस इसमें एक चिप के प्रकार का लटटू जो छोटे आकार का होता है। वह मीटर के तार से जुड़ा होता है जिसकी कनेक्टिविटी मोबाइल टेबलेट से होती है, जिससे रीडिंग आसानी से ली जा सकती है इसे ब्लूटूथ (bluetooth) तकनीक नाम दिया गया है। कुल मिलाकर मोबाइल में जिस प्रकार ब्लूटूथ काम करता है उसी प्रकार यह बिजली (electricity) मीटर से कनेक्ट हो जाएगा।


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