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    मध्‍यप्रदेश: भोपाल के मिंटो हॉल की तरह सजेगा इंदौर का मशहूर लालबाग पैलेस

  • July 01, 2021


    इंदौर. इंदौर के बकिंघम पैलेस (Buckingham Palace) के नाम से मशहूर लालबाग पैलेस (Lal baag Palace) को अब भोपाल के मिंटो हॉल (Minto) की तर्ज पर सजाया और संवारा जाएगा। आज राज्य की पर्यटन और संस्कृति मंत्री ऊषा ठाकुर और राज्य के जल संसाधन मंत्री तुलसी सिलावट ने लालबाग पैलेस का दौरा किया। काम शुरू हो चुका है, लेकिन रफ्तार धीमी होने पर दोनों ने नाराजगी जताई।

    इंदौर में पर्यटन को बढ़ावा देने के मकसद से अब यहां की धरोहरों को सहेजा जा रहा है। पर्यटन और संस्कृति मंत्री ऊषा ठाकुर ने 72 एकड़ में फैली इस 135 साल पुरानी धरोहर के पुनरुद्धार का बीड़ा उठाया है। उन्होंने कहा लालबाग पैलेस पुरातत्व की अमूल्य धरोहर है इसके गौरव को फिर से स्थापित किया जाएगा। इसकी शान और विलक्षणता वापस लाने का पुरजोर प्रयास वो करेंगी।

    लाल बाग को भोपाल के मिंटो हाल (Minto Hall) जैसा सजाया संवारा जाएगा। इसमें नक्षत्र वाटिका, योगा सेंटर भी बनाया जाएगा। इसकी ऊपरी मंजिल को पर्यटकों के रुकने के लिए गेस्ट हाउस के रूप में भी तब्दील किया जाएगा।



    इस पैलेस को लंदन के बकिंघम पैलेस की तर्ज पर बनाया गया था। जैसी डिजाइन और इंटीरियर बकिंघम पैलेस का है उसी तरह की डिजाइन का ये महल इंदौर में बनाया गया था। इसमें सभी फाइव स्टार सुविधाएं मौजूद थीं। इसकी रोमन शैली, पेरिस के राजमहलों वाली सजावट, बेल्जियम की कांच कला, कसारा संगमरमर के स्तंभ, स्वर्णिम आभा से सजा दरबार हॉल, छतों पर बनी नायाब पेंटिग, झूमर और कीमती फर्नीचर के साथ खूबसूरत गलीचे महल की शान हैं।

    इस जगह का नाम लाल बाग पैलेस इसलिए पड़ा क्योंकि एक समय पर यहां पर भारत के सबसे अच्छे लाल गुलाब के बगीचे थे।

    जल संसाधन मंत्री (water resources minister) तुलसी सिलावट ने कहा लालबाग के संरक्षण और जीर्णोद्धार के काम कछुआ गति से चल रहे हैं। इनमें तेजी लाने की जरूरत है। ये परिसर एक स्वरूप में उभरेगा। ये होलकर राजवंश की धरोहर है उसकी सुरक्षा करना हमारी जिम्मेदारी है। लालबाग पैलेस (Lalbagh Palace) को संवारने के लिए मध्यप्रदेश के साथ ही केन्द्र से भी बजट लाया जाएगा। इसके विकास में फंड की कोई कमी नही आने दी जाएगी।

    लालबाग पैलेस को नौ करोड़ रुपये की लागत से संजाने-संवारने का काम चल रहा है। इसमें पैलेस की छत के अलावा दरवाजे, खिड़कियों, दीवारों की रंगाई पुताई और कुर्सियों की मरम्मत का काम भी शामिल है। विश्व धरोहर निधि से पैलेस के अंदर की कलाकृतियों को भी रैनोवेट किया जा रहा है।

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