इंदौर न्यूज़ (Indore News)

शंकर के खाली हाथ, मेंदोला के आगे नहीं चल पाई सिलावट की

झोन अध्यक्षों के चुनाव में भाजपा की गुटबाजी सामने आई

ताई की चली तो विधायकों को भी नाराज नहीं किया महापौर ने

इंदौर, संजीव मालवीय। कल झोन अध्यक्षों के चुनाव में विशेष रणनीति के तहत भाजपा (BJP) ने अपने नाम तय कर दिए थे, लेकिन इसमें पार्टी की गुटबाजी सामने आ गई। सांसद शंकर लालवानी अपने एक भी समर्थक को झोन अध्यक्ष में स्थान नहीं दिलवा पाए तो मंत्री सिलावट (Minister Silavat) भी खाली हाथ रहे। उनके समर्थक दो पार्षद हैं, लेकिन विधायक मेंदोला (MLA Mendola) के सामने उन्हें अपने हाथ टेकना पड़े। यह वार्ड यूं तो सांवेर विधानसभा में आता है, लेकिन नगर निगम (Nagar Nigam) की दृष्टि से दो नंबर विधानसभा में जोड़ा गया है।


कल झोन अध्यक्षों के चुनाव में भाजपा की गुटबाजी साफ नजर आई। सांसद शंकर लालवानी का कार्यकाल समाप्त होने वाला है और संगठन इस बार उन्हें दूसरी बार टिकट देने के मूड में नहीं है। इसका असर अभी से ही दिखाई देने लगा है। एक कारण यह भी रहा कि झोन अध्यक्षों के चुनाव में लालवानी की चल नहीं पाई और वे खाली हाथ रहे। यही स्थिति टिकट बंटवारे में भी हुई थी। जब पार्षद चुनाव हुए थे, तब उन्होंने अपने नजदीकी तीन भाजपाइयों को चुनाव लड़ाया था। लालवानी समर्थक कंचन गिदवानी, मुद्रा शास्त्री और संध्या यादव का झोन अध्यक्ष न बनना इशारा कर रहा है कि उन्हें कहीं तवज्जो नहीं मिली है, जबकि सांसद रहीं सुमित्रा महाजन ने अपने समर्थक महेश जोशी की पत्नी संगीता जोशी को 8 नंबर में तो प्रशांत बड़वे को 21 नंबर का झोन अध्यक्ष बनवा दिया। एक नंबर विधानसभा में मंत्री कैलाश विजयवर्गीय की चली और उनके क्षेत्र के नाम उनसे पूछकर तय किए गए। 3 नंबर विधानसभा में आकाश विजयवर्गीय के नामों को गोलू शुक्ला ने आगे बढ़ाया और विजयवर्गीय समर्थकों को यहां से अध्यक्ष बनाया गया है। एक नंबर में उषा ठाकुर के कट्टर समर्थक पराग कौशल को भी 4 नंबर में झोन अध्यक्ष बना दिया गया। 2 नंबर में पूरी तरह से विधायक रमेश मेंदोला की ही चली और उनके नजदीकी पार्षदों को झोन अध्यक्ष का पद मिल गया। उन्होंने अपने समर्थक सुरेश कुरवाड़े को झोन 22, सुनीता चौखंडे को 6, पूजा पाटीदार को 7, लालबहादुर वर्मा को 9, संध्या जायसवाल को 17 में झोन अध्यक्ष बनवा दिया। कुल मिलाकर मेंदोला फायदे में ही रहे। पिछले तीन साल से भाजपा के साथ सत्ता में आए मंत्री तुलसी सिलावट अपने और सिंधिया समर्थक पार्षद मनोज मिश्रा तथा योगेश गेंदर को अध्यक्ष नहीं बनवा पाए। कुरवाड़े की जगह पहले मनोज मिश्रा का नाम लिया जा रहा था, लेकिन दो नंबर विधानसभा में आने के कारण सिलावट मिश्रा की मदद नहीं कर पाए। चार और पांच नंबर में भी विधायकों की चली। यहां से मालिनी गौड़ समर्थक नितिन शर्मा, हरप्रीतकौर लूथरा, मीता रामबाबू राठौर को झोन अध्यक्ष बनाया गया है तो हार्डिया ने भी अपने खास समर्थक प्रणव मंडल, महेश बसवाल, पुष्पेंद्र पाटीदार को झोन अध्यक्ष बनवा डाला। विधायक मधु वर्मा जरूर अपने क्षेत्र में खाली रह गए। उनकी राऊ विधानसभा में शहरी क्षेत्र के 8 वार्ड आते हैं। वहां से एक अध्यक्ष जीतू जिराती के ओमप्रकाश आर्य तो दूसरे ताई समर्थक प्रशांत बड़वे को अध्यक्ष बनाया गया है। हालांकि महापौर पुष्यमित्र भार्गव ने सभी विधायकों से चर्चा के बाद ही अध्यक्षों के उम्मीदवार घोषित करने का दावा किया है, लेकिन नियुक्ति में साफ नजर आ रहा है कि मंत्री विजयवर्गीय गुट को खास तवज्जो दी गई है।

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