विदेश

ब्रिटेन में भयानक तेल संकट, 90 प्रतिशत पेट्रोल पंप बंद

लंदन। ब्रिटेन(Britain) इन दिनों भयानक तेल संकट का समना कर रहा है। स्थिति यहां तक पहुंच गई है कि यहां के 90 प्रतिशत पेट्रोल पंप में फ्यूल खत्म (Fuel ran out in 90 percent petrol pumps) हो चुका है। जिन पेट्रोल पंपों पर सप्लाई चालू है, वहां भी अराजकता की स्थिति पैदा हो गई है। ईंधन की कमी के कारण न केवल खाने-पीने के सामान की भारी किल्लत(acute shortage of food items) हो गई है, बल्कि ट्रांसपोर्ट सिस्टम पर भी बुरा असर देखने को मिल रहा है। विशेषज्ञों ने चेतावनी दी है कि इसका असर ब्रिटेन की अर्थव्यवस्था पर भी देखने को मिल सकता है।


ब्रिटेन में तेल संकट क्यों गहराया
ब्रिटेन (Britain) में पेट्रोल-डीजल की कमी (shortage of petrol and diesel) का कारण ब्रेक्जिट और ट्रक ड्राइवरों की भारी कमी बताई जा रही है। इस कारण ब्रिटेन की सप्लाई चेन ही चरमरा गई है। रिफाइनरी से पेट्रोल पंपों तक तेल नहीं पहुंच पा रहा है। बड़ी संख्या में ट्रक सड़कों के किनारे खड़े हैं, लेकिन उनको चलाने वाला कोई नहीं है। यही कारण है कि पूरे ब्रिटेन में तेल की कमी से हाहाकार मचा हुआ है।

सरकार के प्रयासों का भी कोई फायदा नहीं
प्रधानमंत्री बोरिस जॉनसन की सरकार नेचुरल गैस की कीमतों में बढ़ोत्तरी के कारण खाने-पीने के सामानों में आई कमी को रोकने के लिए लाखों पाउंड खर्च करने का ऐलान किया है। कैबिनेट के कई मंत्री लोगों से पैनिक खरीदारी करने से बचने की अपील कर रहे हैं। इसके बावजूद देश के लगभग सभी पेट्रोल पंपों पर एक तरह की ही स्थिति दिखाई दे रही है।

60 से 90 फीसदी पेट्रोल पंप बंद
रविवार को ब्रिटेन में कई पेट्रोल पंपों को ड्रॉय घोषित करने के बाद बंद करना पड़ा। गैस स्टेशनों का भी यही हाल है। ब्रिटेन में पेट्रोल पंप विक्रेताओं के संगठन पेट्रोल रिटेलर्स एसोसिएशन (PRA) ने बताया है कि कुछ क्षेत्रों में 60 से 90 फीसदी पंप बंद करने पड़े हैं। इन पंपों पर डीजल-पेट्रोल और गैस खत्म हो चुकी है। हमें सप्लाई ही नहीं मिल पा रही है। ऐसे में आगे भी ऐसी ही स्थिति बने रहने की संभावना है।

सेना को बुलाने पर विचार कर रही सरकार
द टाइम्स और फाइनेंशियल टाइम्स ने दावा किया है कि ब्रिटिश सरकार कस्टमर तक फ्यूल की पहुंच सुनिश्चित करने के लिए सेना को बुलाने पर विचार कर रही है। लेकिन, ट्रक ड्राइवर, गैस स्टेशन और पेट्रोल पंप विक्रेताओं ने चेतावनी दी है कि इससे कोई फायदा नहीं होने वाला है। हमें कम से कम 10 हजार ड्राइवरों की जरूरत है। इसके लिए नए ड्राइवरों को ट्रेनिंग और लाइसेंस देने पर काम करना चाहिए।

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