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बिहार में वीर के विजयोत्सव में राष्ट्रीय ध्वज फहराने का बना रिकॉर्ड


आरा (बिहार) । स्वतंत्रता आंदोलन (Freedom Movement) की पहली लडाई के योद्धा (Warriors of the First Battle) बाबू वीर कुंवर सिंह (Babu Veer Kunwar Singh) के विजयोत्सव (Victory Celebration) के मौके पर शनिवार को बिहार (Bihar) में भोजपुर के दुलौर के मैदान में (In Dulour Grounds of Bhojpur) 77 हजार से अधिक (More than 77 Thousand) तिरंगा लहरा कर (Hoisting the National Flag) विश्व रिकॉर्ड बनाया गया (World Record was Made)।


इस मौके पर उपस्थित देश के गृह मंत्री अमित शाह ने कहा कि वीर कुंवर सिंह के वीरता की गाथा की तुलना में इतिहास ने उनके साथ अन्याय किया। उन्होंने कहा कि इस चिलचिलाती धूप में जिस तरह लोग उनके विजयोत्सव कार्यक्रम में उन्हें श्रद्धांजलि देने पहुंचे हैं, वही इस बात का प्रमाण है कि वे कितने महान थे।
जगदीशपुर के दुलौर मैदान में आयोजित विजयोत्सव कार्यक्रम में कुंवर सिंह को श्रद्धाजंलि देते हुए शाह ने कहा कि इतिहास ने बाबू कुंवर सिंह के साथ अन्याय किया। उनकी वीरता के अनुरूप उन्हें जगह नहीं दी गई। आज बिहार की जनता पलक पांवड़े बिछाकर उनका नाम एक बार फिर से अमर कर रही है।

उन्होंने कहा कि 58 साल के सार्वजनिक जीवन में अनेक प्रकार की रैलियों में गया हूं, लेकिन आरा में राष्ट्रभक्ति का ये उफान देखकर नि:शब्द हूं। ऐसा कार्यक्रम जीवन में कभी नहीं देखा। उन्होंने इस कार्यक्रम को ऐतिहासिक बताते हुए कहा कि जितने लोग इस बडे पंडाल में हैं उससे अलग पांच किलोमीटर तक हाथ में तिरंगा लिए लोग सड़कों पर वंदे मातरम का नारा लगा रहे हैं। इस दौरान उन्होंने कुंवर सिंह की स्मृति में जगदीशपुर में उनका भव्य स्मारक बनाने की घोषणा करते हुए कहा कि उसमें 1857 के स्वतंत्रता आंदोलन के सेनानियों की स्मृति में स्मारक बनाया जाएगा।

गृह मंत्री ने प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी की तारीफ करते हुए कहा कि 123 करोड़ लोगों का मुफ्त टीकाकरण नहीं करते तो न जाने कितने लोग कोरोना महामारी से मारे जाते। उन्होंने कहा कि अमीर तो वैक्सीन लगवा लेते, लेकिन दलित, आदिवासी, शोषित कहां लगवाते। उन्होंने कई केंद्र प्रायोजित योजनाओं का भी जिक्र किया।
शाह ने इस समारोह में विपक्ष पर निशना साधने से नहीं चूके। उन्होंने राजद शासनकाल की चर्चा करते हुए कहा कि पूर्व मुख्यमंत्री लालू यादव और राबड़ी देवी के शासनकाल को याद कराना जरूरी है। बिहार में जंगलराज को कोई भूल सकता है क्या। यही बिहार था जहां सरेआम हत्या होती थी। बिजली नहीं थी। जाति के नाम पर भेदभाव होता था। नीतीश कुमार और सुशील मोदी ने बिहार को बीमारू राज्य से विकसित राज्य की ओर ले जाने का काम किया।

इससे पूर्व शाह कुंवर सिंह के किला गए जहां कुंवर सिंह की प्रतिमा पर माल्यार्पण कर उन्हें श्रद्धांजलि दी। इसके बाद समारोह के पूर्व शाह ने तिरंगा झंडा फहराया। इसके बाद पंडाल में बैठे लोगों ने भी तिरंगा लहराया। बताया जाता है कि करीब 77 हजार से अधिक तिरंगा यहां फहराया गया। इसकी संख्या अभी और बढ सकती है।

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