देश

कोरोना के बाद अब बिहार में वायरल फीवर का कहर, अस्पतालों में चाइल्ड वार्ड फुल

पटना. बिहार में कोरोना की तीसरी लहर (third wave of corona in bihar) के आशंका के बीच अब वायरल फीवर (Viral Fever In Bihar) कहर बरपाने लगा है. हालात ऐसे हैं कि पटना (Patna) के सभी बड़े अस्पतालों में बच्चों का वार्ड फुल (children’s ward full) है और वायरल इंफेक्शन (viral infection) का कहर बच्चों पर जारी है. पटना के एनएमसीएच (NMCH), आईजीआईएमएस (IGIMS) और पीएमसीएच में नीकू और पीकू वार्ड के सभी बेड फुल हैं, जहां नवजात से लेकर 12 साल तक के बच्चे सर्दी, खांसी, बुखार, बेचैनी और निमोनिया से परेशान हैं. पीएमसीएच के शिशु वार्ड में भी एक भी बेड खाली नहीं है और अस्पतालों पर दवाब बढ़ गया है.

PMCH का हाल : बच्चों में वायरल फीवर की वजह से अस्पतालों पर लगातार दवाब बढ़ता जा रहा है. सबसे ज्यादा मरीज पीएमसीएच में भर्ती हो रहे हैं. अधीक्षक का कहना है कि मरीज को लौटा नहीं सकते हैं इसलिए फर्श पर भी इलाज करना पड़ रहा है. अधीक्षक की मानें तो बच्चों में सर्दी, खांसी, बुखार और सांस लेने में परेशानी की शिकायत ज्यादा देखी जा रही है लेकिन किसी बच्चे में कोरोना की पुष्टि नहीं हुई है. उन्होंने लोगों से अपील की है कि बच्चों में वायरल फीवर की शिकायत होने पर घबराएं नहीं.

NMCH का हाल : पटना के NMCH में मरीजों की संख्या लगातार बढ़ती जा रही है. 761 बेड वाले इस अस्पताल में फिलहाल 836 मरीज भर्ती हैं जिससे काफी परेशानी हो रही है. अस्पताल में बेड नहीं रहने की वजह से मरीजों को लौटाया जा रहा है. शिशु रोग विभाग में 84 बेड हैं जहां 87 बच्चों का इलाज चल रहा है. अस्पताल अधीक्षक ने बताया कि सभी बेड भरे रहने की वजह से एक्स्ट्रा बेड लगाकर मरीजों का इलाज किया जा रहा है.


छपरा का हाल : वायरल बुखार के बढ़ते मामलों के बीच छपरा के एक गांव में 3 बच्चों की मौत ने प्रशासनिक अमले में हड़कंप मचा दिया है. इस गांव में 21 बच्चे अब भी बीमार भी हैं. प्रशासन यहां कैंप लगाकर बच्चों की निगरानी कर रहा है. सिविल सर्जन ने गांव में दो बच्चों की मौत की पुष्टि कर दी है.

मुजफ़्फ़रपुर भी तैयार : वायरल बुखार बच्चों के लिए जानलेवा साबित हो रहा है. वायरल बुखार के मामले इतनी तेजी से बढ़ रहे हैं कि अब मुज़फ़्फ़रपुर के सभी पीएचसी अस्पतालों को अलर्ट किया गया है. सिविल सर्जन डॉ विनय कुमार शर्मा ने बताया कि जिले के सभी स्वास्थ्य केंद्रों को सभी प्राथमिक स्वास्थ्य केंद्रों को सचेत किया गया है कि जहां भी इस तरह की बात सामने आ रही हो तुरंत मेडिकल टीम भेजकर लोगो का इलाज कराना सुनिश्चित करें. उन्होंने बताया कि अभी तक के वायरल इंफेक्शन है वो तीन से पांच दिन में ठीक हो जाता है।

पूर्णिया में भी दस्तक : पूर्णिया में भी इन दिनों वायरल फीवर दस्तक दे चुका है. बड़ी तादाद में बच्चों को लेकर परिजन अस्पतालों में पहुंच रहे हैं. इसमें कुछ मोनाजाइटिस के तो कुछ चमकी बुखार के मरीज भी हैं. मेडिकल कॉलेज के बच्चा वार्ड और एसएनसीयू में एक दर्जन से अधिक वायरल फीवर से ग्रसित बच्चे भर्ती हैं. बच्चों के परिजनों का कहना है कि उन्हें सर्दी, बुखार, खांसी जैसी बीमारियां हो रही हैं.

बक्सर भी है तैयार : बक्सर के मानिकपुर अतिरिक्त प्राथमिक स्वास्थ्य केन्द्र में न दवा है न डॉक्टर. ग्रामीणों का कहना है कि बीमार पड़ने पर इलाज के लिए बाहर जाना पड़ता है. ग्रामीणों का कहना है कि इस अतिरिक्त प्राथमिक स्वास्थ्य केन्द्र पर बुनियादी दवाएं भी नहीं हैं. इस मामले में सिविल सर्जन का कहना है कि जल्द ही डॉक्टर की नियुक्ति की जा रही है. डॉक्टर की नियुक्ति के बाद कोई समस्या नहीं होगी.

Share:

Next Post

किसान आंदोलन के बीच मोदी सरकार ने MSP बढ़ाया, किसान बोले- हमारे साथ मजाक किया

Thu Sep 9 , 2021
अंबाला. कृषि कानूनों का विरोध कर रहे किसानों का आंदोलन (Kisan Aandolan) पिछले 10 महीनों (10 months) से जारी है और किसान कृषि कानूनों (farmer agricultural laws) को रद्द करवाने के साथ साथ एमएसपी (MSP) गारंटी की मांग कर रहे हैं. ऐसे में बुधवार को केंद्रीय कृषि मंत्री नरेंद्र तोमर (Narendera Singh Tomar) ने कई […]