क्राइम जिले की खबरें मध्‍यप्रदेश

हीरा खदान धंसकने से एक मजदूर की मौत, एक गंभीर

पन्‍ना। वर्तमान में हीरे की तमन्ना का जूनून इतना बढ़ चुका है कि पन्ना से लेकर पड़ोसी जिला सतना के बरौंधा थाना एवं उत्तर प्रदेश के बाँदा जिले के कालिंजर क्षेत्र तक वन-राजस्व एवं निजी भूमि पर हजारों की संख्या में अवैध हीरा खदानें धड़ल्ले से चल रहीं है। बेशकीमती रत्न हीरे की चमक की चकाचैंध में करीब-करीब अंधे और स्वार्थी हो चुके लोग तेजी से पन्ना के जंगल, नदी व नालों को तबाह करने आमदा है। इतना ही नहीं जुआ खेलने सरीखी हीरे की खोज की प्रक्रिया में लोग अपनी जिंदगी को भी जोखिम में डाल रहे हैं।



जिला मुख्यालय पन्ना से सटे ग्राम हीरापुर-टपरियन में हुआ हृदय विदारक हादसा इसका प्रमाण है। आदिवासी बाहुल्य ग्राम हीरापुर-टपरियन में शनिवार एक हीरा खदान के धंसकने से उसके अंदर काम कर रहे एक नवयुवक की दर्दनाक मौत हो गई, जबकि उसका साथी मजदूर गंभीर रूप से घायल हो गया।

उल्लेखनीय है कि ग्राम हीरापुर-टपरियन में रहने वाले पेशे से मजदूर प्रदीप कौंदर (आदिवासी) 20 वर्ष का परिवार भूमिहीन होने के साथ-साथ भीषण गरीबी का दंश झेल रहा है। पांच भाई-बहनों के बीच उम्र में सबसे बड़ा होने की वजह से परिवार के भरण पोषण की जिम्मेदारी युवा प्रदीप के कंधों पर थी, क्योंकि उसके माता पिता बढ़ती उम्र के शारीरिक कष्ट की वजह से अब पहले की तरह मजदूरी नहीं कर पाते। परिवार को गरीबी और भुखमरी से निजात दिलाने के लिए बैचेन प्रदीप को जब कुछ नहीं सूझा तो उसने अपने रिश्तेदार अरविंद कौंदर के साथ मिलकर गांव में ही स्थित हरी कौंदर के खेत में कथित तौर पर हीरे की लम्बी-चैड़ी खदान खोद डाली।

लगभग 40 फिट गहरी और इतनी ही चौंड़ी खदान की खुदाई से निकली मिट्टी को वे कगार के ही नजदीक डंप करते रहे। सुबह खदान के अंदर बीचों-बीच में स्थित छोटे से गड्ढे में उतरकर प्रदीप व पूरन हीरे की चाल (ग्रेवल) की खुदाई करने में जुटे थे, तभी अचानक खदान के एक बड़े हिस्से की मिट्टी भरभरा कर गड्ढे में गिरने से प्रदीप उसके नीचे दब गया, जबकि पूरन कमर के ऊपर तक धंस गया। बुरी तरह फंसे पूरन के चीखने-चिल्लाने पर आसपास मौजूद लोगों ने आनन-फानन दोनों को बाहर निकाला और इलाज के लिए तुरंत पन्ना जिला चिकित्सालय ले गए। जहाँ ड्यूटी पर तैनात डॉक्टर ने प्रदीप कौंदर का गहन परीक्षण करने के उपरान्त उसे मृत घोषित कर दिया। वहीं पूरन के पैर व कमर में चोट होने के कारण उसे जिला चिकित्सालय में भर्ती कराया गया है। नवयुवक प्रदीप की दर्दनाक हादसे में असमय मौत होने से पीड़ित परिवार पर दुखों का पहाड़ टूट पड़ा है। जवान बेटे को खोने के गम में माता-पिता छाती पीट-पीटकर रो रहे हैं। उसके छोटे भाई-बहनों की आँखें भी नम हैं। हादसे के बाद से गांव में मातम का माहौल है। कोतवाली थाना पन्ना पुलिस ने इस हादसे पर फिलहाल मर्ग कायम कर मामले को जांच में लिया है।

Share:

Next Post

कोरोना वायरस फेफड़ों की कोशिकाओं को कैसे कुछ ही घंटे में क्षति पहुंचाता है, वैज्ञानिकों ने पता लगाया

Mon Feb 1 , 2021
बोस्टन । वैज्ञानिकों ने विषाणु संक्रमण की शुरुआत में फेफड़ों की हजारों कोशिकाओं के भीतर होने वाली आणविक गतिविधियों के बारे में अबतक तैयार किए गए अनुसंधानों से एक व्यापक खाका तैयार किया है जिससे कोविड-19 से निपटने वाली नई दवाई के विकास में मदद मिल सकती है। अमेरिका के बोस्टन विश्वविद्यालय समेत कई वैज्ञानिकों […]