भोपाल न्यूज़ (Bhopal News)

सुप्रीम कोर्ट की तीन सदस्यीय बेंच ने छतरपुर में रेत खनन पर लगाई रोक

  • डिस्ट्रिक सर्वे रिपोर्ट फायनल होने तक नहीं होगा रेत खनन
  • बारिश के मौसम में पहले से बंद है नदियों से रेत खनन

भोपाल। छतरपुर जिले की खदानों से रेत निकालने पर सुप्रीम कोर्ट ने रोक लगा दी है। ऑक्शन के जरिए रेत की खदानों को दो ग्रुपों को आंवटन किए जाने के बाद डिस्ट्रिक सर्वे रिपोर्ट(डीएसआर) प्रकाशित होने पर लगाई गई याचिका की सुनवाई कर सुप्रीम कोर्ट की तीन सदस्यीय बेंच ने रोक लगा दी है। जस्टिस डीवाइ चंद्रचूड़, जस्टिस सूर्यकांत और जस्टिस एएस बोपन्ना ने 20 जुलाई को जारी आदेश में कहा है कि डिस्ट्रिक सर्वे रिपोर्ट फायनल होने तक जिले की रेत खदानों में माइनिंग बंद रहेगी।

सर्वे रिपोर्ट के पहले ऑक्शन पर लगाई गई याचिका
मातगुंवा निवासी मंगल सिंह ने सुप्रीम कोर्ट में सिविल याचिका लगाई है। याचिका में सुप्रीम कोर्ट के बिहार वर्सस पवन कुमार के केस के फैसले का हवाला देकर कहा गया है कि बिना डिस्ट्रिक सर्वे रिपोर्ट के रेत खदानों का ठेका किया गया। ठेका 16 नबंवर 2021 को किया गया, जबकि डिस्ट्रिक सर्वे रिपोर्ट 4 मार्च को प्रकाशित की गई।

एनजीटी में भी हुई थी सुनवाई
सुप्रीम कोर्ट में याचिका लगाने वाले मातगुंवा निवासी मंगल सिंह ने इसके पहले एनजीटी में भी यही याचिका लगाई थी । जिस पर एनजीटी ने डीेसआर अप्रूव होने पर ही रेत खनन के निर्देश देकर याचिका डिस्पोज कर दी थी। जिसके बाद दो महीने तक काम बंद रहा, फिर डीएसआर अप्रूव होने पर ठेका कंपनी ने खनन शुरु किया। हालांकि मानसून के दौरान वर्तमान में जिले की नदियों से रेत उत्खनन सितंबर तक बंद है, जो अक्टूबर में शुरु होता है।


46 करोड़ में हुई है जिले की रेत खदानों की नीलामी
भोपाल की दो फर्मो को 46 करोड़ 18 लाख रुपए में 31 जून 2023 तक के लिए खदान दी गई। निविदा में हिस्सा लेने वाली भोपाल की फर्म यू फोरिया माइंस एंड मिनरल्स को गोरिहार समूह की 23 रेत खदानें और पुष्मा इंटरप्राइजेज को 25 रेत खदानों को संचालन का आशय पत्र जारी किया गया है। गौरिहार समूह की 23 रेत खदानों को 30 करोड़ 11 लाख 11 हजार 106 रुपए और दूसरे समूह की 25 रेत खदानों को 16 करोड़ 7 लाख रुपए में नीलाम किया गया है। शेष अवधि के लिए हुई नीलामी में 29 करोड़ 81 लाख रुपए राजस्व की गिरावट आई है। पूर्व ठेकेदार ने 75 करोड़ 99 लाख रुपए में रेत खदान ली थी, हालांकि उंचे दामों पर ठेका लेने के बाद ठेकेदार राजस्व चुकाने में फेल रहे, जिस पर शासन ने ठेका निरस्त कर दिया था। अब शेष अवधि के लिए 18 लाख घन मीटर रेत की नीलामी हुई, जिसमें गौरिहार समूह में 11 लाख घन मीटर और दूसरे समूह में 7 लाख घटमीटर रेत की नीलामी एक साल के लिए हुई है।

इनका कहना है
फिलहाल जिले की नदियों में मानसून के सीजन के चलते रेत उत्खनन बंद है। कोर्ट के आदेश का परीक्षण करा रहे हैं। उसके बाद आगे की कार्यवाही की जाएगी।
अमित मिश्रा, खनिज अधिकारी, छतरपुर

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