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Budget 2023: क्या होता है ब्लैक बजट? जानिए भारत के इतिहास का वो दिन, जब पेश हुआ था काला बजट

नई दिल्ली (New Delhi) । वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण (Finance Minister Nirmala Sitharaman) आज 11 बजे संसद में आम बजट पेश करेंगी. इस बजट को लेकर कई दिनों से चर्चाएं चल रही हैं. हर वर्ग अपने-अपने हिसाब से राहत की उम्मीदें लगाए बैठा है. यह आजाद भारत (India) का 75वां आम बजट होगा. आजाद भारत में 2023 से पहले तक 74 आम बजट, 14 अंतरिम बजट और चार विशेष बजट या लघु बजट पेश किए जा चुके हैं.

पर बजट को लेकर जो सबसे हैरान और चौंकाने (surprised and shocked) वाली जानकारी है उसके बारे में इक्का-दुक्का लोग ही जानते हैं. जी हां, हम जिस बजट की बात कर रहे हैं, उसे ब्लैक बजट (Black Budget) कहते हैं. आजाद भारत में अभी तक ऐसा मौका एक बार ही आया है जब ब्लैक बजट पेश किया गया हो. अब आप जानने चाह रहे होंगे कि आखिर ब्लैक बजट होता क्या है. यहां हम आपको विस्तार से बताएंगे कि क्या है ब्लैक बजट. इसे कब पेश किया गया और इसके पीछे क्या वजह थी.


क्या है ब्लैक बजट?
ब्लैक बजट उसे कहते हैं जिसमें सरकार (Government) को खर्च में कटौती करने की नौबत आए. उदाहरण के लिए अगर सरकार की आय 500 रुपये है और उसका खर्च 550 रुपये है तो सरकार को बजट में कटौती करने की जरूरत होगी. इस कटौती वाले बजट को ही ब्लैक बजट कहते हैं. भारत में अब तक 1973 में ही ब्लैक बजट पेश किया गया था. इसके पीछे एक बड़ी वजह भी थी. साल, 1971 में भारत-पाकिस्तान युद्ध की वजह से खर्च बढ़ने पर आर्थिक स्थिति काफी खराब हो गई थी. इसके अलावा इस साल में बारिश भी ठीक से नहीं हुई थी. इससे खेती प्रभावित हुई थी. इन जटिल परिस्थितियों में सरकार की इनकम कम और खर्च ज्यादा हो गया था. इस वजह से इंदिरा गांधी (Indira Gandhi) की सरकार को ब्लैक बजट पेश करना पड़ा था. उस समय के वित्त मंत्री यशवंत राव बी चव्हाण ने ब्लैक बजट पेश किया था.

ब्लैक बजट में था क्या-क्या प्रावधान
1973 में पेश किए गए ब्लैक बजट में सरकार ने सामान्य बीमा कंपनियों, भारतीय कॉपर कॉरपोरेशन और कोल माइन्स के राष्ट्रीयकरण की घोषणा की थी और इसके लिए 56 करोड़ रुपये का प्रावधान किया गया था. सरकार ने ब्लैक बजट में 550 करोड़ रुपये का घाटा दिखाया गया था.

ये भी हैं बजट के प्रकार
बता दें कि आम बजट, अंतरिम बजट और ब्लैक बजट (Interim Budget and Black Budget) के अलावा भी बजट के कुछ और प्रकार हैं. सबसे प्रमुख होता है आम बजट. आमतौर पर देश में यही पेश किया जाता है. इसे संविधान के अनुच्छेद 112 के तहत पेश किया जाता है. वहीं, अंतरिम बजट को अनुच्छेद 116 के तहत पेश करते हैं. अंतरिम बजट आम चुनाव वाले वर्षों में पेश किया जाता है. आखिरी बार वर्ष 2019 में अंतरिम बजट पेश किया गया था. अब अगले साल 2024 में भी अंतरिम बजट पेश किया जाएगा. अंतरिम बजट में सरकार कोई नीतिगत फैसला नहीं लेती है और न ही कोई नया टैक्स लगाती है. बजट के यही दो प्रकार सबसे प्रचलित हैं. ब्लैक बजट के बारे में हमने आपको ऊपर विस्तार से बताया. इनके अलावा निष्पादन बजट और शून्य आधारित बजट भी होता है.

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