भोपाल न्यूज़ (Bhopal News)

संबल कार्ड की तर्ज पर बनेंगे Unique ID Card मिलेगा सरकारी योजनाओं का सीधा लाभ

  • असंगठित श्रमिक अपने गांव या शहर के नजदीकी कामन सर्विस सेंटर में करा सकेंगे पंजीयन
  • असंगठित श्रमिकों को प्रधानमंत्री सुरक्षा बीमा योजना का मिलेगा लाभ

भोपाल। विभिन्न छोटे छोटे काम धंधों में लगे असंगठित मजदूरों के अब भारत सरकार संबल कार्ड (Sambal Card) के जैसे ही अब देशभर के असंगठित श्रमिकों के यूनिक आईडी कार्ड (Unique ID Card) बनाएगी। इस कार्यक्रम को श्रम एवं रोजगार मंत्रालय ने लांच कर दिया है। देशभर में असंगठित वर्कर विभिन्न क्षेत्रों में काम कर रहे हैं। अब इनका कार्य के अनुसार विभाजन कर खाका तैयार किया जाएगा ताकि इनके उत्थान के लिए योजनाएं बनाकर उन्हें क्रियान्वित किया जा सके।



भोपाल सहित प्रदेशभर में समस्त असंगठित श्रमिकों का पंजीकृत किया जाना है। सभी का पंजीकरण नि:शुल्क नागरिक सुविधा केंद्र के माध्यम से होगा। इसके लिए सरकार नागरिक सुविधा केंद्र्र को 20 रूपए प्रति कार्ड देगी। हालांकि यदि इस यूनिक आईडी कार्ड में आवेदक बाद में अपडेट करवाता है तो उसके 20 रूपए उसे खुद वहन करने होंगे। पंजीयन के लिए असंगठित श्रमिक अपने गांव या शहर के नजदीकी कामन सर्विस सेंटर पर जाकर 16 से 59 वर्ष की आयु का असंगठित श्रमिक नि:शुल्क पंजीयन करा सकते है। पंजीयन के पश्चात उन्हें तुरंत कार्ड दे दिया जाएगा। पंजीयन के लिए आवेदक के पास आधार कार्ड नंबर होना चाहिए, बैंक का खाता और मोबाइल फोन नंबर यह आवेदन के लिए अनिवार्य है। आवेदक का पीएफ और ईएसआई खाता नहीं होना चाहिए। आवेदक किसी भी संगठित समूह या संस्था का सदस्य नहीं होना चाहिए।

इनका होगा पंजीकरण
छोटे किसान, कृषि क्षेत्र में लगे मजदूर, पशुपालन, मछली विक्रेता, मोची, ईट भ_ों पर काम करने वाले, घरों में काम करने वाले, रेहड़ी-फड़ी वाले, न्यूजपेपर वेंडर, कारपेंटर, प्लंबर, रिक्षा व आटो रिक्षा संचालक, मनरेगा वर्कर, दूध विक्रेता, स्थानांतरित लेबर, नाई, आषा वर्कर, चाय विक्रेता व ऐसे मजदूर जो कि किसी संगठन के साथ नहीं जुड़े सभी यूनिक आईडी बनवा सकते है।

यूनिक आईडी से ये मिलेगा लाभ
यूनिक आईडी कार्ड बनते ही इन असंगठित श्रमिकों को प्रधानमंत्री सुरक्षा बीमा योजना का लाभ मिल जाएगा। इसका एक साल का खर्च भी खुद सरकार ही वहन करेगी। असंगठित श्रमिक किस वर्ग से है का खाका तैयार करने के बाद सामाजिक सुरक्षा योजनाएं जो कि मंत्रालय और सरकार ने चलाई हैं उन्हें आसानी से क्रियान्वित कर इनके लिए बजट का प्रावधान किया जा सकेगा। श्रमिकों की गतिविधियों और वह किस राज्य से किस राज्य में जा रहे हैं को आसानी से ट्रेक किया जा सकेगा। आपदा के समय इन असंगठित श्रमिकों तक आसानी से मदद पहुंचाई जा सकेगी। जैसे कोरोना काल में इन्हें इनके घर तक पहुंचाना, खाने की व्यवस्था करना इत्यादि।

रोजगार के अवसर भी
इनके लिए इनके वर्ग के हिसाब से सरकार सृजित कर सकेगी, साथ ही यदि कहीं किसी विशेष वर्ग के मजदूरों की जरूरत होगी तो इसी यूनिक आईडी के माध्यम से इन लोगों को सूचित भी किया जा सकेगा।

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