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बच्‍चों की मैमोरी तेज करनें में मददगार होंगे ये फूड्स, डाइट में जरूर करें शामिल

सही भोजन खाना आपके बच्चे का दिमागी विकास के साथ-साथ समग्र सेहत में मदद कर सकता है। ये अच्छी तरह मालूम है कि भोजन और उसमें शामिल पोषक तत्व(Nutrients) दिमागी विकास, वृद्धि और काम में सहायता करते हैं। बचपन में खास पोषक तत्व विशेष तौर पर विकासशील दिमाग और उसके काम के लिए फायदेमंद है।

ये पोषक तत्व महत्वपूर्ण (important) मात्रा में उस फूड से प्रदान किए जाते हैं जिसे हम ब्रेन फूड्स के तौर पर संबोधित करते हैं। प्रोटीन, आयरन और जिंक शुरुआती उम्र से दिमाग में वृद्धि के लिए आवश्यक हैं। सौभाग्य से, ये पोषक तत्व डार्क मीट पोल्ट्री, बीन्स (Beans) और खास अनाज में पाए जा सकते हैं। डार्क मीट आम तौर से अधिक सक्रिय मांसपेशी समूह में पाया जाता है, जैसे चिकन के पैर और जांघ। इसलिए, आहार विशेषज्ञ विधि चावला ने छोटी उम्र बच्चों के दिमागी विकास में इस्तेमाल के लिए कुछ फूड्स शेयर किए हैं।

योगर्ट-
ब्रेकफास्ट के लिए अपने बच्चे को योगर्ट या प्रोटीन युक्त स्नैक देना उनको अच्छा दिमागी सेहत बनाए रखने में मदद करने का शानदार तरीका है। आयोडीन डेयरी प्रोडक्ट्स (dairy products) जैसे योगर्ट में पाया जाता है। ये दिमागी विकास और कॉग्निटिव फंक्शन के लिए जरूरी पोषक तत्व है। दूध और योगर्ट दोनों प्रोटीन और कार्बोहाइड्रेट्स (Carbohydrates) में अधिक होते हैं, जो दिमाग के पसंदीदा ऊर्जा स्रोत हैं।



अंडे-
अंडे प्रोटीन और अन्य पोषक तत्वों में ज्यादा होता हैं जो दिमागी सेहत का समर्थन करते हैं। कोलीन अंडे की जर्दी में पाया जाता है। ये कोशिका झिल्लियों (cell membranes) का एक महत्वपूर्ण घटक होता है जिसका शरीर न्यूरोट्रांसमीटर और कोशिका झिल्ली का संकेतन पैदा करने के लिए इस्तेमाल करता है। ये किसी भ्रूण या शिशु के दिमागी विकास में एक महत्वपूर्ण भूमिका निभाने के लिए दिखाया गया है। अंडे प्रोटीन के भी अच्छे स्रोत होते हैं और आपके बच्चे का पेट अधिक समय तक भरा रखते हैं।

नट्स-
नट्स और सीड्स आपके बच्चे की डाइट में सरल जोड़ हैं जो दिमाग और दिल की सेहत को फायदा पहुंचा सकते हैं। उसमें बहुत ज्यादा प्रोटीन, जरूरी फैटी एसिड्स (fatty acids), आयरन और जिंक पाया जाता है। नट्स और सीड्स में विटामिन ई भी होता है, जो कॉग्निटिव फंक्शन यानी सोचने, समझने, सवाल हल करने, सीखने, निर्णय लेने और ध्यान लगाने जैसी क्षमता को बढ़ा सकता है और फ्री रैडिकल क्षति को रोकता है जो मानसिक गिरावट का कारण बन सकता है। अखरोट, विशेष तौर पर ओमेगा-3 फैटी एसिड(Omega-3 Fatty Acid) में अधिक होता है, जो दिमागी सेहत का समर्थन करता है।

जामुन और संतरे-
एंटीऑक्सीडेंट्स (Antioxidants) फलों में काफी पाए जाते हैं, विशेषकर जामुन। जामुन में एंथोसायनिन और फ्लेवोनायड होते हैं, जो सूजन रोधी और एंटीऑक्सीडेंट्स प्रभाव रखते हैं। ऑक्सीडेटिव तनाव और सूजन का न्यूरोलॉजिकल प्रक्रियाओं पर नकारात्मक प्रभाव हो सकता है। एंटीऑक्सीडेंट युक्त फूड्स का डाइट में शामिल करना मानसिक गिरावट को रोकने में मदद कर सकता है। विटामिन सी युक्त फल जैसे संतरा बच्चे का दिमाग स्वस्थ और सतर्क रखने के लिए अच्छा विकल्प है। रिसर्च से साबित हुआ है कि फलों में विटामिन सी को मानसिक गिरावट के खिलाफ बचानेवाला और दिमागी सेहत को बढ़ानेवाला पाया गया है।

सालमन-
फैटी मछलियां जैसे सालमन ओमेगा-3 फैटी एसिड में अधिक होती हैं, जिसकी दिमागी विकास और काम के लिए जरूरत होती है। वास्तव में, हाल के रिसर्च से पता चला है कि अधिक फैटी एसिड खानेवाले लोगों का दिमाग ज्यादा तेज और मानसिक कौशल परीक्षण में बेहतर प्रदर्शन करते हैं। टूना भी लीन प्रोटीन का एक शानदार स्रोत है। मोटे तौर पर लीन प्रोटीन का अर्थ है किसी भी फूड्स में फैट तथा कोलेस्ट्राल का कम होना ।

नोट– उपरोक्‍त दी गई जानकारी व सुझाव सामान्‍य सूचना के लिए इन्‍हें किसी प्रोफेशनल डॉक्‍टर की सलाह के रूप में समझें । हम इसकी सत्‍यता व सटीकता का दावा नही करते कोई भी सवाल हो तो डॉक्‍टर की सलाह जरूर लें ।

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