कीव (Kyiv)। यूक्रेन (Ukraine) की विदेश मामलों के उप मंत्री एमिन ज़ापरोवा (Ukraine Deputy Minister Emine Dzhaparova) 4 दिवसीय दौरे पर भारत (India tour) आई हुई है. वो 9 अप्रैल से 12 अप्रैल तक भारत के दौरे पर हैं. इसी दौरान उन्होंने रूसी सैनिकों और उनकी पत्नियों (Russian soldiers and their wives) और मां के बीच हुए बातों का जिक्र किया. उन्होंने कहा कि, ”जब हम उनके कॉल को इंटरसेप्टेड करते थे तो वो लोग यूक्रेनी घरों से सामान चुराने को लेकर बात करते थे. वे कभी-कभी टॉयलट सीट भी चुरा लेते थे।”
यूक्रेनी मंत्री एमिन ज़ापरोवा पिछले साल फरवरी में यूक्रेन युद्ध की शुरुआत के बाद से भारत का दौरा करने वाली पहली अधिकारी हैं. उन्होंने कहा कि ये रिश्ते को फिर से शुरू करने का समय है और दोनों देशों के बीच बेहतर और गहरा रिश्ता बनाने की जरूरत है।
G-20 शिखर सम्मेलन में आमंत्रित करें
विदेश मामलों की उप मंत्री एमिन ज़ापरोवा ने कहा कि भारत दूरदर्शी बदलाव देख रहा है और यूक्रेन के साथ नए संबंध बनाने में उसे कुछ समय लगा सकता है. हमारे राष्ट्रपति लगातार कह रहे हैं कि हमें दूसरों के अधिकारों पर कदम उठाए बिना अपने अधिकारों के लिए लड़ना होगा. कई मायनों में भारत और यूक्रेन के बीच बहुत समानता है।
उन्होंने कहा कि हमारे द्विपक्षीय संबंधों में बहुत बड़ी क्षमता है, जो अभी तक काम में नहीं लाया गया है. ज़ापरोवा ने बातचीत के दौरान यह भी कहा कि भारत अपने G20 अध्यक्ष पद की मदद से यूक्रेनी अधिकारियों को G-20 कार्यक्रमों और शिखर सम्मेलन में आमंत्रित करके यूक्रेन में पैदा हुए संकट को उजागर कर सकता है।
पाकिस्तान के साथ रिश्तों पर की बात
G20 शिखर सम्मेलन (G20 summit) सितंबर में आयोजित किया जाएगा और उनके राष्ट्रपति वोलोडिमिर ज़ेलेंस्की (President Volodymyr Zelensky) को संबोधित करने में खुशी होगी. मंत्री ने कहा कि हमारी उम्मीदें बिल्कुल स्पष्ट हैं. हम मानते हैं कि अर्थव्यवस्था और भविष्य की अर्थव्यवस्था के बारे में चर्चा करना चाहिए. यूक्रेन के खिलाफ रूस के युद्ध के नतीजों के बारे में चर्चा के बिना दुनिया में आर्थिक स्थिति संभव नहीं है।
पाकिस्तान के साथ यूक्रेन के संबंध पर बात करते हुए कहा कि हमारे और पाकिस्तान के रिश्ते भारत के हितों के खिलाफ नहीं रहे है. उन्होंने बताया कि पाकिस्तान के साथ हमारे रिश्ते 90 के दशक से है. पाकिस्तान के साथ संबंध कभी भी भारत के साथ संबंधों के खिलाफ नहीं थे।
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